सामरिक के साथ आर्थिक मोर्चे पर चीन को शिकस्‍त देने के लिए अमेरिका की बड़ी रणन‍ीति, फ‍िर बनेगा नंबर वन

सामरिक और आर्थिक क्षेत्र में चीन को शिकस्‍त देने के लिए अमेरिकी राष्‍ट्रपति जो बाइडन ने एक बड़ी योजना तैयार की है। राष्‍ट्रपति बाइडन इस योजना का ऐलान जल्‍द कर सकते हैं। कोरोना महामारी के दौरान अमेरिका की आर्थिक व्‍यवस्‍था पंगू हो गई है।

By Ramesh MishraEdited By: Publish:Wed, 31 Mar 2021 07:29 PM (IST) Updated:Wed, 31 Mar 2021 10:05 PM (IST)
सामरिक के साथ आर्थिक मोर्चे पर चीन को शिकस्‍त देने के लिए अमेरिका की बड़ी रणन‍ीति, फ‍िर बनेगा नंबर वन
सामरिक के साथ आर्थिक मोर्चे पर चीन को शिकस्‍त देने के लिए अमेरिका की बड़ी रणन‍ीति। फाइल फोटो।

वाशिंगटन, एजेंसी। सामरिक और आर्थिक क्षेत्र में चीन को शिकस्‍त देने के लिए अमेरिकी राष्‍ट्रपति जो बाइडन ने एक बड़ी योजना तैयार की है। राष्‍ट्रपति बाइडन इस योजना का ऐलान जल्‍द कर सकते हैं। कोरोना महामारी के दौरान अमेरिका की आर्थिक व्‍यवस्‍था पंगू हो गई है। इसके चलते अमेरिका को उसके आर्थिक साम्राज्‍य में चीन से बड़ी चुनौती मिल रही है। बाइडन ने चीन से निपटने के लिए और अपनी आधारभूत ढांचे को दुरुस्‍त करने की योजना तैयार कर ली है।

दो ट्रिलियन डॉलर के इंफ्रास्ट्रक्चर पैकेज अमेरिका के आधारभूत ढांचे को सुधारने और चीन से मुकाबले के लिए राष्ट्रपति जो बाइडन बुधवार को दो ट्रिलियन डॉलर के इंफ्रास्ट्रक्चर पैकेज का एलान कर सकते हैं। राष्ट्रपति यह एलान पेंसिलवेनिया के पिट्सबर्ग में करेंगे। माना जा रहा है कि इससे ना केवल अच्छे वेतन वाली लाखों नौकरियां पैदा होंगी, बल्कि देश की बुनियादी सुविधाओं में भी वृद्धि होगी। यह वर्तमान सदी में किया जाने वाला सबसे बड़ा निवेश प्रस्ताव है। राष्ट्रपति की पिट्सबर्ग यात्रा से पहले अधिकारियों ने कहा कि आठ वर्षो के दौरान दो ट्रिलियन डॉलर का निवेश किया जाएगा। इससे देश के बुनियादी ढांचे में बदलाव होगा। अगर बाइडन के कारपोरेट टैक्स बढ़ाए जाने की योजना के साथ-साथ इंफ्रा पैकेज को मंजूरी मिलती है तो अगले 15 वर्षो में इस निवेश की लागत निकल आएगी। साथ ही भविष्य में होने वाला घाटा भी कम होगा। दरअसल, बाइडन कारपोरेट टैक्स की दर बढ़ाकर 28 फीसद करना चाहते हैं। अधिकारी ने कहा कि इस योजना के जरिये अर्थव्यवस्था में सार्वजनिक निवेश पिछली शताब्दी के सातवें दशक के स्तर पर पहुंच जाएगा। यह वह दौर था जब अमेरिका ने बुनियादी ढांचे में क्रांतिकारी निवेश किया था। बता दें कि इंफ्रास्ट्रक्चर मामले में अमेरिका दुनिया में 13वें स्थान पर है। अकेले ट्रैफिक जाम के चलते प्रतिवर्ष 160 अरब डॉलर की बर्बादी होती है। जबकि प्रत्येक कार चालक को प्रति वर्ष एक हजार डॉलर से अधिक पेट्रोल और समय की चोट पहुंचती है।

परिवहन ढांचे में खर्च होंगे 620 अरब डॉलर

इसके तहत दो लाख मील हाईवे, सड़कों और मुख्य मार्गो का आधुनिकीकरण किया जाएगा। इतना ही नहीं आर्थिक रूप से महत्वपूर्ण 10 बड़े पुलों और एक हजार छोटे पुलों की मरम्मत और पुननिर्माण किया जाएगा। इसके अलावा पांच लाख इलेक्टि्रक व्हीकल चार्जर स्टेशन बनाए जाने के साथ पचास हजार डीजल ट्रांजिट वाहनों को सड़कों से हटाया जाएगा। इसके अलावा लोगों को भविष्य के वाहन खरीदने के लिए के लिए भी मदद दी जाएगी। 

अमेरिकियों के रहन-सहन में परिवर्तन के लिए 650 अरब डॉलर

अमेरिकियों के रहन-सहन में परिवर्तन और विभिन्न समुदायों को आपस में जोड़ने के लिए 650 अबर डॉलर के निवेश का प्रस्ताव है। इसके तहत ना केवल सभी को ब्रॉडबैंड उपलब्ध कराया जाएगा बल्कि साफ पानी और उच्च गुणवत्ता वाले किफायती आवास का निर्माण किया जाएगा। अभी तक अमेरिका की 30 फीसद आबादी को ब्राडबैंड का एक्सेस नहीं है। 

मैन्युफैक्चरिंग में 50 अरब डॉलर का निवेश

घरेलू सेमी कंडक्टर मैन्युफैक्चरिंग में 50 अरब डॉलर का निवेश होगा। इससे वैश्विक बाजार में अमेरिका की स्थिति मजबूत होगी। बता दें कि अभी तक सेमीकंडक्टर के निर्माण पर चीन का एकाधिकार है।

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