दस दिन बाद भी चालू नहीं हुआ राइजिग लाइन डालने का कार्य

रामनगर में पेयजल की जर्जर मेन राइजिग लाइन को बदलने का कार्य ठप हुए दस दिन बीत गए हैं। विभागों के बीच खींचतान के कारण दोबारा कार्य कब चालू होगा इसे लेकर अभी भी संशय बना हुआ है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 12 Mar 2020 06:21 PM (IST) Updated:Fri, 13 Mar 2020 06:18 AM (IST)
दस दिन बाद भी चालू नहीं हुआ राइजिग लाइन डालने का कार्य
दस दिन बाद भी चालू नहीं हुआ राइजिग लाइन डालने का कार्य

जागरण संवाददाता, रुड़की: रामनगर में पेयजल की जर्जर मेन राइजिग लाइन को बदलने का कार्य ठप हुए दस दिन बीत गए हैं। विभागों के बीच खींचतान के कारण दोबारा कार्य कब चालू होगा इसे लेकर अभी भी संशय बना हुआ है। बता दें एक मार्च को पेयजल निगम द्वारा बिना एनओसी लिए काम चाल किया गया था। जिसके अगले ही दिन नगर निगम ने लाइन डालने का काम रुकवा दिया था। इसके अलावा नगर निगम की ओर से पेयजल निगम अधिकारियों से मांगे गए 28 लाख रुपये भी विभाग के लिए परेशानी का कारण बने हुए है। पेयजल निगम के अधिकारियों की माने तो उनके पास बजट का अभाव है। ऐसे में पेयजल निगम की ओर से नगर निगम के अधिकारियों को कार्यस्थल का निरीक्षण कर दोबारा से एस्टीमेट बनाने के लिए पत्र लिखा गया है। पेयजल निगम के अधिशासी अभियंता संजय सिंह के अनुसार रामनगर क्षेत्र में राइजिग लाइन डालने को लेकर एनओसी के लिए नगर निगम को पहले ही पत्र लिखा जा चुका था। उनके अनुसार लाइन डालने के लिए सड़क के कुछ हिस्से को ही काटा जा रहा है। जबकि निगम ने पूरी सड़क का एस्टीमेट बनाकर दिया है। जो गलत है।

600 मीटर में डाली जानी हैं राइजिग लाइन

पेयजल निगम की ओर से अमृत योजना के तहत रामनगर क्षेत्र में 600 मीटर मेन राइजिग लाइन डालने की योजना बनाई गई है। इसके लिए लगभग 46 लाख रुपये का बजट है। वहीं 600 मीटर में से 100 मीटर में पेयजल निगम की ओर से राइजिग लाइन डाल दी गई हैं लेकिन एक दिन बाद ही काम रुकवाने से यह ठप पड़ गया है।

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