उत्‍तराखंड में आगामी सत्र से एक्ट के अनुसार होंगे तबादले, पढ़ि‍ए पूरी खबर

प्रदेश के सभी विभागों में आगामी सत्र के तबादले एक्ट के अनुसार ही होंगे। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इस संबंध में मुख्य सचिव ओमप्रकाश की अध्यक्षता में गठित समिति द्वारा भेजे गए प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान कर दी है।

By Sunil NegiEdited By: Publish:Mon, 15 Feb 2021 09:14 PM (IST) Updated:Mon, 15 Feb 2021 09:32 PM (IST)
उत्‍तराखंड में आगामी सत्र से एक्ट के अनुसार होंगे तबादले, पढ़ि‍ए पूरी खबर
उत्‍तराखंड के सभी विभागों में आगामी सत्र के तबादले एक्ट के अनुसार ही होंगे।

राज्य ब्यूरो, देहरादून। प्रदेश के सभी विभागों में आगामी सत्र के तबादले एक्ट के अनुसार ही होंगे। मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने इस संबंध में मुख्य सचिव ओमप्रकाश की अध्यक्षता में गठित समिति द्वारा भेजे गए प्रस्ताव को मंजूरी प्रदान कर दी है। हालांकि मुख्यमंत्री ने वित्तीय दृष्टिकोण को देखते हुए हर विभाग में कुल दस फीसद अथवा चुनावी आचार संहिता के अनुरूप ही तबादले करने को स्वीकृति प्रदान की है।

प्रदेश में वर्ष 2017 में वार्षिक तबादला एक्ट लागू किया गया था। इसमें सुगम क्षेत्र से दुर्गम क्षेत्र व दुर्गम क्षेत्र से सुगम क्षेत्र में अनिवार्य तबादला करने का प्रविधान किया गया है। वर्ष 2018 में इसके तहत कुछ विभागों में तबादले भी हुए लेकिन हर विभाग द्वारा सुगम व दुर्गम क्षेत्रों के चिह्नीकरण को लेकर समस्याएं सामने आई। नतीजतन वर्ष 2018 और 2019 में विभागों में कुल कर्मचारी संख्या के सापेक्ष दस फीसद तबादले ही हो पाए। इनमें से भी गंभीर बीमार, विधवा, दिव्यांग, दांपत्य नीति और अनुरोध के आधार पर किए गए तबादले शामिल रहे। 

कोरोना के कारण लगे लाकडाउन के चलते वर्ष 2020 शून्य सत्र घोषित किया गया। अब तबादला सत्र 2021-2022 के लिए तबादले किए जाने हैं। इसके लिए मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित समिति की तीन फरवरी को बैठक हुई थी। बैठक में वर्ष शून्य सत्र को समाप्त करने का निर्णय लिया गया। इसके साथ ही आगामी सत्र में तबादला नीति के अनुसार तबादले करने संबंधी प्रस्ताव मुख्यमंत्री कार्यालय को भेजा गया। 

मुख्य सचिव द्वारा भेजे गए इस प्रस्ताव में यह भी कहा गया कि वर्ष 2022 में विधानसभा चुनाव होने हैं। इस कारण इससे पहले आदर्श आचार संहिता लागू हो जाएगा। इसमें यह स्पष्ट है कि तीन साल से अधिक समय पर एक ही स्थान पर तैनात होने वाले कार्मिकों का तबादला अनिवार्य है। इस प्रस्ताव को मुख्यमंत्री ने अपनी मंजूरी दे दी है।

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