होली बाजार के रंग में कोरोना नहीं डाल पाएगा भंग, बाजार में आने लगीं चाइनीज पिचकारियां

होली नजदीक आ रही है और अभी से ही बाजार में रंग-बिरंगी पिचकारियां इतराने लगी है।

By Edited By: Publish:Fri, 21 Feb 2020 01:33 AM (IST) Updated:Fri, 21 Feb 2020 07:50 AM (IST)
होली बाजार के रंग में कोरोना नहीं डाल पाएगा भंग, बाजार में आने लगीं चाइनीज पिचकारियां
होली बाजार के रंग में कोरोना नहीं डाल पाएगा भंग, बाजार में आने लगीं चाइनीज पिचकारियां

वाराणसी, जेएनएन। होली नजदीक आ रही है और अभी से ही बाजार में रंग-बिरंगी पिचकारियां इतराने लगी हैं। ज्यादातर पिचकारियां और अन्य सामग्री चीन से भारत में आयात होती हैं जो दिसंबर में ही आ गई थी। अभी चीन में कोरोना वायरस का कहर जारी है लेकिन यहां रंग में भंग नहीं डाल पाएगा। हड़हासराय और राजादरवाजा बनारस के ऐसे बाजार हैं जहां पर बड़े पैमाने पर पिचकारियों की बिक्री होती है।

पूरे पूर्वांचल से खरीदार यहां पर आते हैं। कोरोना से होली के बाजार में कितना असर पड़ेगा इस पर कारोबारियों की अलग-अलग राय है। हड़हासराय के खिलौने व पिचकारियों के कारोबारी सुधीर गुप्ता बताते हैं कोरोना का असर बाजार पर नहीं है। दीपावली के वक्त ही चाइना से दिल्ली, मुंबई में होली के सामान आ जाते हैं। दिसंबर तक सारे होल सेल बाजार तक यह पहुंच जाता है। ऐसे में जितना सामान आना था वो आ चुका है। अब यही सामान होलसेल मार्केट से फुटकर कारोबारी लेकर जा रहे हैं।

होली पर चाइना के साथ ही इंडियन पिचकारियां भी छाई हुई हैं। इनकी फिनिशिंग चाइना को भी मात दे रही है। कोरोना तो बाद की घटना है। होली का रंग कोरोना कम नहीं कर पाएगा। राजादरवाजा के पिचकारी के कारोबारी सुदीप कुमार बताते हैं 70 प्रतिशत पिचकारियां और गुब्बारे चाइना से आते हैं और इनकी डिमांड है। कोरोना वायरस के चलते चीन से अब सामान नहीं आ रहा। दिसंबर में ही सामान आ गया था। अब जो लोग बाद में पिचकारियां खरीदेंगे तो इनके दाम लगभग 20 प्रतिशत तक बढ़ सकता है। वहीं राजादरवाजा के कारोबारी राजेश गुप्ता ने बताया कि चाइना के सामान पर अब भारतीय पिचकारियां भारी पड़ रही हैं। इनकी फिनिशिंग चाइना के प्रोडक्ट को मात दे रही हैं। होली के बाजार में चाइना और भारतीय दोनों पिचकारियां बिक रही हैं।

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