कोयले के कारण नहीं पैदा होगा बिजली संकट: जोशी
जागरण संवाददाता अनपरा (सोनभद्र) देशव्यापी कोयला संकट के बीच मंगलवार को नार्दर्न कोलफील्ड्स
जागरण संवाददाता, अनपरा (सोनभद्र) : देशव्यापी कोयला संकट के बीच मंगलवार को नार्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड (एनसीएल) के दौरे पर पहुंचे केंद्रीय कोयला, खान एवं संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा कि कोयले के कारण बिजली संकट नहीं पैदा होगा। देश में प्रचुर मात्रा में कोयला उपलब्ध है। बिजली परियोजनाओं को अपेक्षानुसार कोयला मिलता रहेगा। मंगलवार को उन्होंने मध्यप्रदेश के सिगरौली स्थित एनसीएल की जयंत, दुधिचुआ और निगाही कोयला खदानों का निरीक्षण किया। उन्होंने एनसीएल की सिंगरौली मुख्यालय में बैठक के दौरान मुख्य प्रबंध निदेशक सहित अन्य निदेशकों से कोयला उत्पादन और प्रेषण की जानकारी ली। साथ ही निगाही परियोजना में मेक इन इंडिया के तहत तैयार 190 टन के स्वदेशी इलेक्ट्रिक डंपर को हरी झंडी दिखाई । दरअसल वर्तमान में देश के 100 से ज्यादा बिजली घरों में कोयले की कमी बनी हुई है। सस्ती बिजली पैदा करने वाली कई इकाइयों के कोयले की कमी के कारण आपात कटौती की स्थिति बनी हुई है। कोयला मंत्री ने एनसीएल के प्रदर्शन की प्रशंसा करते हुए कहा कि एनसीएल कोयला संकट को दूर करने में सारथी की भूमिका निभा रहा है। दौरे के दौरान उन्होंने एनसीएल प्रबंधन को दीर्घकालिक खनन गतिविधियों के लिए प्रोत्साहित किया। उल्लेखनीय है कि एनसीएल ने कोरोना संक्रमण और मानसून के बावजूद वित्तीय वर्ष 2020-21 की समान अवधि के प्रेषण (53.44 मिलियन टन) की तुलना में चालू वित्तीय वर्ष में अब तक 15 फीसदी वृद्धि के साथ 61.51 मिलियन टन कोयला उपभोक्ताओं को प्रेषित किया है। यही नहीं एनसीएल ने प्रथम छमाही में पिट हेड बिजली घरों को कोयले की अनुबंधित मात्रा का 113 फीसद आपूर्ति की है। एनसीएल ने अगस्त और सितंबर माह में दो बार एक दिन में सर्वाधिक कोयला प्रेषण कर एक नया कीर्तिमान स्थापित किया है। ऐसे में एनसीएल पर कोयला मंत्रालय की विशेष नजरें है।