शाहजहांपुर में ड्रेस के रुपये के लिए 3377 लोगों के पास आयी सीएम दफ्तर से काल

जेएनएन शाहजहांपुर कड़ाके की ठंड में बेसिक शिक्षा परिषद के दो लाख तीन हजार बच्चे स्वे

By JagranEdited By: Publish:Thu, 20 Jan 2022 01:40 AM (IST) Updated:Thu, 20 Jan 2022 01:40 AM (IST)
शाहजहांपुर में ड्रेस के रुपये के लिए 3377 लोगों के पास आयी सीएम दफ्तर से काल
शाहजहांपुर में ड्रेस के रुपये के लिए 3377 लोगों के पास आयी सीएम दफ्तर से काल

जेएनएन, शाहजहांपुर : कड़ाके की ठंड में बेसिक शिक्षा परिषद के दो लाख तीन हजार बच्चे स्वेटर, जूता मोजा से वंचित है। जिन 1.91 लाख बच्चों को पैसा भेजा गया, उनमें भी तमाम बच्चों को अभी तक रूपये नहीं मिल सके । बुधवार को मुख्यमंत्री कार्याल से 3377 अभिभावकों के पास इस बावत फोन आया। इनमें 2017 अभिभावकों ने तो ड्रेस का पैसा मिल जाने की जानकारी दी। लेकिन 1060 अभिभावकों ने संतोषजनक उत्तर नहीं दिया। तमाम अभिभावकों ने बताया कि उन्होंने खाता ही नहीं चेक किया। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी ने सभी अभिभावकों से आधार कार्ड से लिक्ड खाता को चेक करने की सलाह दी है।

जनपद में 3.94 लाख बच्चे बेसिक विद्यालयों में पढ़ते है। सरकार ने इन बच्चो ंको इस बार ड्रेस, स्वेटर, जूता मोजा के लिए 1100 रुपये नकद देने का निर्णय लिया। इसके लिए शिक्षकों से उनके अभिभावकों का आधार कार्ड से लिक्ड खाते का विवरण मांगा गया। बीएसए ने प्रथम चरण में एक लाख 91 हजार बच्चों का ब्योरा डीबीटी पोर्टल से भेजा। इन बच्चो के अभिभावकों के खाते में पैसा भेज दिया गया। मुख्यमंत्री कार्यालय से क्रास चेकिग कराई गई। इसके लिए 3377 लोगों के पास काल की गई। उनके बच्चों की ड्रेस के पैसे के बारे में जानकारी के साथ ही ड्रेस बनवायी या नहीं पूछा गया।

माह के अंत तक मिल सकता 2.03 लाख बच्चों को पैसा

डीबीटी पोर्टल पर शेष दो लाख तीन हजार बच्चों को ब्योरा भी ड्रेस के पैसे के लिए भेज दिया गया। बीएसए सुरेंद्र सिंह ने बताया कि सभी बच्चों का ब्योरा डीबीटी पोर्टल पर फीड करा दिया गया है। अब पैसा मिलने का इंतजार है। उन्होंने बताया कि माह के अंत तक पैसा मिलने की संभावना है। फैक्ट फाइल

- 3.94 लाख बच्चे पंजीकृत है बेसिक विद्यालय में

- 1.91 लाख बच्चों के अभिभावकों में अभी तक भेजा गया ड्रेस का पैसा

- 2.03 लाख बच्चों को अभी ड्रेस का पैसा मिलना शेष

- 3377 अभिभावकों को फोन कर किया गया सत्यापन

- 1060 अभिभावकों ने जताई अनभिज्ञता

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