मुरादाबाद रेल मंडल के कर्मियों की सुुविधाओं में कटौती, जानिए क्या है रेलवे की योजना

फाइनेंशियल कमिश्नर ने जारी किया पत्र। जरूरत के हिसाब से कल-पुर्जे खरीदने के दिए निर्देश। छोटे स्टेशनों पर रिजर्वेशन सिस्टम बंद किए जाएंगे।

By Narendra KumarEdited By: Publish:Thu, 09 Jul 2020 10:23 AM (IST) Updated:Thu, 09 Jul 2020 10:31 AM (IST)
मुरादाबाद रेल मंडल के कर्मियों की सुुविधाओं में कटौती, जानिए क्या है रेलवे की योजना
मुरादाबाद रेल मंडल के कर्मियों की सुुविधाओं में कटौती, जानिए क्या है रेलवे की योजना

मुरादाबाद(प्रदीप चौरसिया)। कोरोनाकाल में रेलवे की आॢथक स्थिति खराब हो गई है। माल ढ़ुलाई से रेलवे को कुछ आमदनी जरूर हो रही है लेकिन, सरकार के वित्त विभाग ने आॢथक मदद करने से इन्कार कर दिया है। इस पर रेलवे ने अपने खर्चों में कटौती करके इससे उबरने की योजना तैयार की है। इसके लिए फाइनेंशियल कमिश्नर ने पत्र जारी किया है। इसके तहत अब मुरादाबाद रेल मंडल में बेहतर काम करने वाले कर्मचारियों को नकद पुरस्कार के स्थान पर प्रशिस्त पत्र दिया जाएगा। इसके अलावा पुराने सभी अनुबंध वाले काम को बंद करने, सेवानिवृत्त कॢमयों को नौकरी नहीं देने को कहा गया है।

रेलवे के फाइनेंसियल कमिश्नर मंजुला रंगराजन ने पत्र में सेवानिवृत्त कर्मी जो नौकरी पर हैैं, उन्हेंं तत्काल हटाने के लिए लिखा है। इसके अलावा संरक्षा से जुड़े पदों को छोड़ कर अन्य सभी पर भर्ती रोक दी है। कर्मचारियों से ओवर टाइम नहीं कराने और छोटे स्टेशन पर रिजर्वेशन बुङ्क्षकग काउंटर को बंद करने के लिए भी कहा है। यात्री सुविधा के लिए कोई नया काम नहीं कराया जाएगा। पुराने सभी डीजल इंजन को बेचने और बिजली वाले इंजन से ट्रेनों का संचालन करने के लिए कहा गया है। साथ ही जरूरत के हिसाब से कल पुर्जे खरीदने के निर्देश दिए हैं। अपर मंडल रेल प्रबंधक एमएस मीना ने बताया कि फाइनेंशियल कमिश्नर के आदेश के अनुसार मंडल स्तर पर खर्च में कटौती शुरू कर दी गई है।

रेलवे क्वार्टरों में प्री-पेड बिजली के लगाए जाएं मीटर

रेलवे क्वार्टरों में लगे सभी पुराने बिजली के मीटर को हटाने और उसके स्थान पर प्री-पेड मीटर लगाने के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही बिना फंड के काम कराने पर रोक लगा दी गई है। वित्तीय वर्ष 2018-19 के पहले हुए अनुबंध को बंद करने के आदेश दिए गए हैं।

जंयती मनाने पर रोक

जयंती के लिए समारोह पर रोक लगा दी गई है। अब आनलाइन जंयती मनायी जाएगी। स्थानीय स्तर पर खर्च करने के लिए मिलने वाले बजट को 50 फीसद कर करने के लिए कहा गया है।

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