UP Congress New President: कानुपर-बुंदेलखंड साधने का प्रयास, बृजलाल ने उरई आवास में मां का लिया आशीर्वाद

उत्तर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के नए अध्यक्ष बनाये गए बृजलाल खाबरी का कानपुर और बुंदेलखंड से गहरा नाता है। जालौन उरई स्थित आवास पहुंचकर उन्होंने मां का आशीर्वाद लिया तो परिवार के लोगों और समर्थकों ने शुभकमानाएं दीं।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Publish:Sat, 01 Oct 2022 04:27 PM (IST) Updated:Sat, 01 Oct 2022 04:27 PM (IST)
UP Congress New President: कानुपर-बुंदेलखंड साधने का प्रयास, बृजलाल ने उरई आवास में मां का लिया आशीर्वाद
जालौन उरई में बृजलाल खाबरी ने मां का आशीर्वाद लिया।

कानपुर, जागरण संवाददाता। UPCC New President : कांग्रेस ने बृजलाल खाबरी Brijlal Khabri को प्रदेश कांग्रेस कमेटी का अध्यक्ष बनाकर कानपुर और बुंदेलखंड क्षेत्र साधने का प्रयास किया है। बसपा (BSP) छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए बृजलाल खाबरी कानपुर-बुंदेलखंड क्षेत्र से गहरा जुड़ाव रखते हैं। प्रदेश अध्यक्ष बनाये जाने के बाद उन्हें जालौन उरई स्थित आवास जाकर सबसे पहले मां का आर्शीवाद लिया।

जालौन के उरई में बृज लाल खाबरी का आवास है और परिवार निवास करता है। शनिवार को कांग्रेस पार्टी ने प्रदेश अध्यक्ष पद की कमान सौंपी तो वह सबसे पहले आवास पहुंचे और मां चंदा देवी का आशीर्वाद लिया। वहीं परिवार के लोगों और समर्थकों ने उन्हें बधाई दी। वह कानपुर और बुंदेलखंड क्षेत्र में खासा दखल रखते हैं। 

बृजलाल खबरी ने बसपा से राजनीतिक सफर की शुरूआत की, वर्ष 1999 के लोकसभा चुनाव में बसपा के टिकट पर वे चुनाव लड़े और जीत हासिल की। एक समय बसपा सुप्रीमो मायावती के करीबी नेताओं में उनकी गिनती होती थी। वर्ष 2007 में विधानसभा चुनाव के दौरान उन्हें बसपा से निष्कासित कर दिया गया था और एक साल बाद ही उनकी फिर वापसी हो गई थी।

लंबे समय तक बसपा में विभिन्न पदों पर रहने के बाद उन्होंने वर्ष 2016 में बसपा छोड़ दी और कांग्रेस में शामिल हुए थे। बहुजन समाज पार्टी में छोड़कर कांग्रेस में शामिल हुए बृजलाल को कांग्रेस बिहार में पार्टी प्रभारी बना चुकी है। विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की टिकट से वह झांसी की ललितपुर की महरौनी सीट से उतरे थे लेकिन हार का सामना करना पड़ा था।

पूर्व वरिष्ठ अधिकारी रह चुकीं उनकी पत्नी उर्मिला सोनकर खाबरी ने भी कांग्रेस की टिकट से जालौन की उरई विधानसभा सीट से चुनाव लड़ा था, वह भी हार गईं थी। कानपुर विकास प्राधिकरण में वह अधिकारी के रूप में तैनात रह चुकी हैं। हालांकि चुनाव में खाबरी दंपती की जमानत जब्त हो गई थी। 

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