गुरुवार को दिग्गज आचार्यों की स्मृति में लीन रही रामनगरी
रामजन्मभूमि मुक्ति की मुहिम के पितामह अभिरामदास को 39वीं पुण्यतिथि पर किया गया नमन. सेवाधर्मी आचार्य रामविलासदास के प्रति भी छलका अनुराग.
अयोध्या : रामनगरी में गुरुवार को दो दिग्गज पूर्वाचार्यों को पुण्य तिथि पर नमन किया गया। बेनीगंज स्थित हनुमान मंदिर पर रामजन्मभूमि मुक्ति की मुहिम के पितामह महंत अभिरामदास को 39वीं पुण्यतिथि पर नमन किया गया। अभिरामदास के उत्तराधिकारी एवं निर्वाणी अनी अखाड़ा के श्रीमहंत धर्मदास के संयोजन में संतों ने दिग्गज आचार्य को नमन करने के साथ उनके अवदान का स्मरण किया। श्रद्धांजलि अर्पित करने वालों में रामजन्मभूमि मुक्ति की मुहिम के पितामह के एक अन्य शिष्य एवं पूर्व सांसद डॉ. रामविलासदास वेदांती, रामवल्लभाकुंज के अधिकारी राजकुमारदास, रसिक पीठाधीश्वर महंत जन्मेजयशरण, हनुमानबाग के महंत जगदीशदास, रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के सदस्य महंत दिनेंद्रदास, निर्वाणी अनी अखाड़ा के राष्ट्रीय महासचिव महंत गौरीशंकरदास, हनुमानगढ़ी के सरपंच महंत रामकृष्णदास, पूर्व सरपंच महंत अवधेशदास, हनुमानगढ़ी की ही उज्जैनिया पट्टी के महंत संतरामदास, हनुमानगढ़ी से ही जुड़े महंत रामकुमारदास, विद्याकुंड बड़ास्थान के महंत उमेशदास, राममहल वैदेहीभवन के महंत रामजीशरण, पार्षद रमेशदास, समाजसेवी विकास श्रीवास्तव आदि सहित बड़ी संख्या में संत-महंत रहे। रामघाट बाईपास मार्ग स्थित संकट मोचन हनुमान किला के संस्थापक एवं अनाथों-बेजुबानों की सेवा के पर्याय महंत रामविलासदास की चौथी पुण्यतिथि आचार्य स्मृति पर्व के रूप में मनायी गयी। उनके शिष्य एवं उत्तराधिकारी महंत रामदास एवं महंत परशुरामदास के संयोजन में महंत रामविलासदास को नमन करने वालों में रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष महंत नृत्यगोपालदास के उत्तराधिकारी महंत कमलनयनदास, जगद्गुरु रामानंदाचार्य स्वामी रामदिनेशाचार्य, लक्ष्मण किलाधीश महंत मैथिलीरमणशरण, रामचरितमानस भवन के महंत अर्जुनदास, करतलिया भजनाश्रम के महंत रामदास त्यागी, रामकथा मर्मज्ञ आचार्य चंद्रांशु, मधुकरी संत मिथिलाबिहारीदास, समाजसेवी विकास सिंह, भाजपा के जिलामंत्री विपिन सिंह बब्लू, अमर सिंह आदि रहे।
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तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट पर लगाये गंभीर आरोप
- महंत अभिरामदास को 22-23 दिसंबर 1949 की रात रामजन्मभूमि पर रामलला के प्राकट्य प्रकरण का मुख्य शिल्पी माना जाता है। उनकी पुण्यतिथि पर जहां रामजन्मभूमि की मुक्ति का हर्ष परिलक्षित हुआ, वहीं मंदिर निर्माण की तैयारियों की समीक्षा भी हुई। महंत अभिरामदास के उत्तराधिकारी महंत धर्मदास ने रामजन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र पर गंभीर आरोप लगाये।
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निर्वाणी अनी को मिलनी चाहिए थी जगह : वेदांती
- पूर्व सांसद डॉ. रामविलासदास वेदांती ने याद दिलाया कि रामजन्मभूमि आंदोलन में निर्वाणी अनी अखाड़ा की महत्वपूर्ण भूमिका रही है और मंदिर निर्माण के लिए गठित ट्रस्ट में निर्वाणी अनी अखाड़ा को जगह मिलनी चाहिए थी। डॉ. वेदांती ने यह भी याद दिलाया कि रामजन्मभूमि न्यास में मंदिर आंदोलन के प्रमुख सूत्रधार अशोक सिंहल के कहने पर उन्हें रखा गया था और उन्होंने मेरा चयन निर्वाणी अनी के कोटे से ही किया था।