भाकियू कार्यकर्ताओं ने पेड़ काटने का विरोध किया

किरतपुर में वन निगम द्वारा खेत की मेढ़ पर लगे यूकेलिप्टिस के पेड़ काटने तथा कटे पेड़ खेत में डालने पर किसानों में रोष छा गया। भारतीय किसान यूनियन ने किसान के खेत से पेड़ नहीं काटने तथा फसल खराब होने का मुआवजा देने की मांग करते हुए धरना दिया।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 21 Oct 2020 06:24 PM (IST) Updated:Wed, 21 Oct 2020 06:24 PM (IST)
भाकियू कार्यकर्ताओं ने पेड़ काटने का विरोध किया
भाकियू कार्यकर्ताओं ने पेड़ काटने का विरोध किया

बिजनौर, जेएनएन। किरतपुर में वन निगम द्वारा खेत की मेढ़ पर लगे यूकेलिप्टिस के पेड़ काटने तथा कटे पेड़ खेत में डालने पर किसानों में रोष छा गया। भारतीय किसान यूनियन ने किसान के खेत से पेड़ नहीं काटने तथा फसल खराब होने का मुआवजा देने की मांग करते हुए धरना दिया।

बुधवार को किरतपुर-कसौर मार्ग पर किसान मसितुल्ला, अखलाक, आफाक और महावीर के खेत की मेढ़ पर खड़े यूकेलिप्टिस के पेड़ वन निगम के कर्मचारियों ने काटने शुरू कर दिए। उन्होंने पेड़ काटकर किसान के खेत मे ही डालने शुरू कर दिए। किसानों द्वारा अपने खेत में खड़े पेड़ों को अपना बताते हुए काटने से मना किया, लेकिन वन निगम के कर्मचारियों ने पेड़ सरकारी बताया। वन निगम द्वारा पेड़ काटना जारी रखने पर किसानों में रोष व्याप्त हो गया। भारतीय किसान यूनियन के बैनर तले ब्लाक अध्यक्ष अरविद राजपूत के नेतृत्व में धरना शरू कर दिया। किसानों ने बताया कि पेड़ 15-20 वर्ष पूर्व उन्होंने लगाए थे, जो उनकी संपत्ति है। किसानों ने कहा कि वन विभाग वाले पहले अपनी हदबंदी बताएं और उन्होंने किसानों के पेड़ काटने बंद करने और फसल खराब होने पर मुआवजे की मांग की। धरना देने वालों में किसान मुकेश, राजकुमार, राजेन्द्र मोहन, सतवीर, मसरूर शेख, शरीफ, शब्बू, विजय आदि शामिल रहे। वन निगम के अनुभाग अधिकारी तेजपाल ने बताया कि निदेशक सामाजिक वानिकी विभाग बिजनौर से आदेश नंबर 952 से यूकेलिप्टिस के पेड़ काटने के आदेश मिले है। विभाग ने कई दिन पहले इन पेड़ों पर निशान लगाए थे।

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