Bijli Bill: यूपी के इस शहर में बिजली विभाग ने बदली व्यवस्था, अब दो महीने में मिलेगा बिल

Bijli Bill नई व्यवस्था को विद्युत निगम ट्रायल के तौर पर शुरू कर रहा है। इसके लिए डिवीजन स्तर पर जिले के पांच-पांच हजार उपभोक्ताओं को शामिल किया जा रहा है। अधिकारियों का यह प्रयोग सफल रहा तो आने वाले दिनों में उपभोक्ताओं को दो महीने में एक बिल रीडिंग आधारित जमा करना होगा जबकि दूसरा औसत रीडिंग से बने हुए बिल का भुगतान करना पड़ेगा।

By Veer Singh Yadav Edited By: Vivek Shukla Publish:Thu, 18 Apr 2024 07:45 AM (IST) Updated:Thu, 18 Apr 2024 07:45 AM (IST)
Bijli Bill: यूपी के इस शहर में बिजली विभाग ने बदली व्यवस्था, अब दो महीने में मिलेगा बिल
bijli Bill नई व्यवस्था को विद्युत निगम ट्रायल के तौर पर शुरू कर रहा है।

HighLights

  • दो महीने में ही मीटर चेक कर बिल बनेगा, ट्रायल पर शुरू व्यवस्था
  • जिले में डिवीजन स्तर पर पांच हजार उपभोक्ता योजना में शामिल किए

जागरण संवाददाता, बरेली। Bijli Bill बिजली उपभोक्ताओं के यहां हर महीने बिजली बिल बनाने नहीं आएगा, वह दो महीने में एक बार मीटर की रीडिंग से बिल तैयार करके उपभोक्ता को देगा। यानि उपभोक्ता अब हर महीने रीडिंग आधारित बिल नहीं मिलेगा, हर दूसरा बिल निगम द्वारा आटो जेनरेट यानि (प्रोवीजनल) बनाकर दिया जाएगा।

नई व्यवस्था को विद्युत निगम ट्रायल के तौर पर शुरू कर रहा है। इसके लिए डिवीजन स्तर पर जिले के पांच-पांच हजार उपभोक्ताओं को शामिल किया जा रहा है। अधिकारियों का यह प्रयोग सफल रहा तो आने वाले दिनों में उपभोक्ताओं को दो महीने में एक बिल रीडिंग आधारित जमा करना होगा, जबकि दूसरा औसत रीडिंग से बने हुए बिल का भुगतान करना पड़ेगा।

योजना के पीछे विभागीय अधिकारियों की मंशा है कि मीटर रीडर के साथ हर जाने वाले विभागीय कर्मचारियों को हर उपभोक्ता के परिसर तक पहुंचना संभव होगा। साथ ही असिस्टेंट मीटर रीडिंग एप पर ज्यादा ज्यादा से ज्यादा उपभोक्ताओं का ब्यौरा भरना संभव होगा।

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अधिकारियों ने यह भी तर्क दिया कि उपभोक्ता हर दो महीने पर रीडिंग आधारित बिल मिलेग, ऐसे में प्रोवीजनल बिल में कम या ज्यादा रीडिंग होने पर बिल रकम अगले बिल में समायोजित कर दी जाएगी। हालांकि योजना को लेकर विभाग के कई इंजीनियर सवाल भी उठा रहे हैं, लेकिन सार्वजनिक तौर पर कहने से बच रहे हैं।

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विद्युत वितरण बरेली जोन प्रथम के चीफ इंजीनियर रणविजय सिंह ने कहा कि योजना को पायलट प्रोजेक्ट के तौर शुरू किया है। कुछ डिवीजन में पांच हजार के करीब उपभोक्ताओं को शामिल किया है, इन उपभोक्ताओं के बिल बनाने के लिए मीटर रीडर दो महीने में एक बार जाएगा, दूसरा बिल विभाग की ओर से उपलब्ध कराया जाएगा।

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