सरयू पुल में दरार से रोडवेज को लग रही पांच लाख की चपत

गोंडा-लखनऊ-कानपुर रूट पर कम निकल रहे लोग मैनुअल टिकटिंग से भी परिचालक नहीं उठा रहे यात्री

By JagranEdited By: Publish:Mon, 27 Sep 2021 10:39 PM (IST) Updated:Mon, 27 Sep 2021 10:39 PM (IST)
सरयू पुल में दरार से रोडवेज को लग रही पांच लाख की चपत
सरयू पुल में दरार से रोडवेज को लग रही पांच लाख की चपत

बलरामपुर: कोरोना काल के दौरान घाटे में गया उत्तर प्रदेश परिवहन निगम अभी अपने नुकसान की भरपाई कर भी नहीं पाया था कि सरयू पुल में आई दरार ने रोडवेज को पांच लाख की चपत लगा दी है। सबसे कमाऊ रोड लखनऊ-कानपुर का डायवर्जन होने के बाद सवारियों में काफी गिरावट आई है।

पहले एक बस में 55-60 सवारियां मिल जाती थीं, लेकिन अब 15 से 20 भी मुश्किल हो रही है। रोडवेज बसें बराबर दौड़ रही है। डीजल व वेतन समेत अन्य खर्च बराबर हो रहे हैं, लेकिन सवारियां एक तिहाई ही मिल पाने से प्रतिदिन दो से ढाई लाख रुपये की आय कम हो गई है। निगम अधिकारियों के मुताबिक घाटे का यही दौर रहा तो फिर रोडवेज बसों का संचालन करने से हाथ खड़ा कर सकता है।

यात्रियों के साथ घटी रोडवेज की कमाई:

एक माह पहले रोडवेज प्रतिदिन नौ से दस हजार यात्रियों को सेवाएं देकर 10 से 12 लाख रुपये कमा लेता था। पांच दिन पहले यात्रियों की संख्या 7600 व आय सात लाख थी, लेकिन अब यात्रियों की संख्या 6405 पर सिमट गई हैं।

यही नहीं दो दिनों के बीच 500 यात्री कम हो गए हैं। आय घटने का कारण यह भी है कि डिपो में ईटीएम मशीनें खराब होने के कारण अब मैनुअल सिस्टम लागू है। तुंरत टिकट न बन पाने के कारण परिचालक सवारी नहीं उठा रहे हैं। रोडवेज स्टेशन अधीक्षक तरन्नुम ने बताया कि सरयू पुल में दरार आने से रोडवेज को प्रतिदिन दो से ढाई लाख रुपये का नुकसान हो रहा है।

कम निकल रहे हैं यात्री, नवरात्रि में होगा सुधार:

सहायक क्षेत्रीय प्रबंधक वीरेंद्र कुमार वर्मा ने बताया कि लखनऊ-कानपुर की बसें बहराइच होकर जा रही है। इससे परेशानी बढ़ी है। पितृपक्ष के कारण पहले ही यात्री कम निकल रहे थे। पुल पर आवागमन रूकने से और कम हो गए। उम्मीद है कि नवरात्रि में कमाई बढ़ेगी। सभी चालकों को सवारी संख्या बढ़ाने की हिदायत दी गई है।

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