कोरोना कर्फ्यू में मिली ढील तो प्रयागराज में डेढ़ महीने बाद फिर जलने-बुझने लगी ट्रैफिक सिग्नल की लाल-हरी बत्ती
अप्रैल में कोरोना कर्फ्यू लगा दिया गया था। ऑक्सीजन और एंबुलेंस के वाहन जाम में न फंसे इसलिए 19 अप्रैल से रेड सिग्नल बंद कर दिया गया था। यलो लाइट (देखिए और जाइए) की व्यवस्था बनाई गई। अब कोरोना संक्रमण कम होने पर कोरोना कर्फ्यू में ढील दे दी गई
प्रयागराज, जेएनएन। आखिरकार संगमनगरी में भी केस घटने पर कोरोना कर्फ्यू में ढील दी गई तो यातायात पुलिस ने भी ट्रैफिक नियमों का पालन कराने के लिए तकरीबन डेढ़ माह बाद मंगलवार को टेस्टिंग करने के बाद ट्रैफिक सिग्नल को सक्रिय कर दिया गया। मंगलवार को पहले दिन शहर के सभी ट्रैफिक सिग्नल को चेक किया गया था। बुधवार सुबह नौ बजे से पूरे शहर में ट्रैफिक सिग्नल ने काम करना शुरू कर दिया। साथ ही बिना ट्रैफिक सिग्नल वाले चौराहों पर यातायात पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है। इस तरह से डेढ़ महीने बाद लोगों को शहर के चौराहों पर रेड लाइट सिग्नल होने पर रुकना पड़ा।
19 अप्रैल से बंद थे ट्रैफिक सिग्नल
कोरोना के बढ़ते मामले की वजह से इसकी रोकथाम के इरादे से अप्रैल में कोरोना कर्फ्यू लगा दिया गया था। ऑक्सीजन और एंबुलेंस के वाहन जाम में न फंसे, इसके मद्देनजर 19 अप्रैल से रेड सिग्नल बंद कर दिया गया था। यलो लाइट (देखिए और जाइए) की व्यवस्था बनाई गई। अब कोरोना संक्रमण कम होने पर कोरोना कर्फ्यू में ढील दे दी गई तो लोगों को यातायात नियमों का पालन कराने के लिए मंगलवार से रेड लाइट सिग्नल शुरू कर दिया गया। पहले दिन 50 फीसद जगहों पर इसे प्रारंभ कर इसकी टेस्टिंग की गई। यातायात निरीक्षक प्रथम हरेंद्र सिंह यादव ने टीम के साथ सभी सिग्नल का निरीक्षण किया।
पुलिस कप्तान का है कहना
कोरोना संक्रमण बढऩे की वजह से रेड लाइट सिग्नल बंद किए गए थे। अब संक्रमण के केस बेहद कम हुए हैं। कोरोना कर्फ्यू में भी अब ढील मिली है, इसलिए ट्रैफिक सिग्नल को दोबारा एक्टिव कर दिया गया है।
सर्वश्रेष्ठ त्रिपाठी, एसएसपी