सिंगापुर की तर्ज पर कान्‍हा की नगरी में होगा पीआरटी, जानिए क्‍या है योजना

मथुरा, वृंदावन और गोवर्धन के लिए बनाया गया है प्रस्ताव। अभी प्रस्ताव को मंजूरी नहीं मिली है, सैद्धांतिक स्तर पर ही है बात।

By Prateek GuptaEdited By: Publish:Sun, 16 Dec 2018 01:08 PM (IST) Updated:Sun, 16 Dec 2018 01:30 PM (IST)
सिंगापुर की तर्ज पर कान्‍हा की नगरी में होगा पीआरटी, जानिए क्‍या है योजना
सिंगापुर की तर्ज पर कान्‍हा की नगरी में होगा पीआरटी, जानिए क्‍या है योजना

आगरा, योगेश जादौन। सिंगापुर की तर्ज पर कान्‍हा की नगरी में पीआरटी को शुरू किए जाने का मसौदा तैयार हो रहा है। मथुरा, वृंदावन और गोवर्धन के लिए प्रस्तावित पर्सनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम का शनिवार को ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा के सामने प्रजेंटेशन किया गया। सैद्धांतिक स्तर पर तैयार यह प्रस्ताव यदि लागू होता है तो धर्म नगरी के संकरे इलाकों में बढ़ती भीड़ को व्यवस्थित करने में यह कारगर हो सकता है।

इस सिस्टम का लाभ यह है कि इसके लिए बहुत अधिक जगह नहीं चाहिए। मेट्रो की तरह ही इसे यातायात के अन्य साधनों जैसे बस और रेलवे स्टेशन से जोड़ा जा सकता है। ऑन कॉल टैक्सी की तरह सिस्टम में चलने वाले पॉट को निर्धारित जगह पर कॉल कर बुलाया जा सकेगा। पूरी व्यवस्था एक केंद्रीय सिस्टम से संचालित होगी। पॉट वहीं से नियंत्रित होंगे। इसमें यात्रा करने वाले केंद्रीय सिस्टम के संपर्क में रहेंगे और उनसे बात भी कर सकेंगे।

शनिवार को एमवीडीए के सभागार में ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा की मौजूदगी में कंपनी के अधिकारियों ने योजना का प्रजेंटेशन दिया। डीएम सर्वज्ञराम मिश्रा और एसएसपी बबलू कुमार ने योजना से जुड़ी जिज्ञासाओं पर सवाल पूछे। उप्र बृज तीर्थ विकास परिषद के उपाध्यक्ष शैलजाकांत ने योजना के बारे में परिचय दिया। इस मौके पर महापौर मुकेश आर्यबंधु, एमवीडीए वीसी नगेंद्र प्रताप, सचिव बसंत अग्रवाल, नगर निगम आयुक्त समीर वर्मा, एडीएम वित्त रवींद्र कुमार सहित तमाम जिलास्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।

यह है पीआरटी सिस्टम

पर्सनल रैपिड ट्रांजिट सिस्टम 1.2 मीटर के आधार वाले पोल पर टिके 2.1 मीटर के ट्रैक पर मारुति 800 के आकार के दौड़ते विशेष पॉट की अतिआधुनिक यातायात व्यवस्था है। यह अभी तक लंदन के हीथ्रो हवाई अड्डे पर ही चल रही है। गोवर्धन, वृंदावन और मथुरा में ट्रैक बिछाने के लिए अल्ट्राफेयरवुड कंपनी ने प्लान तैयार किया है। योजना पर छह हजार करोड़ रुपये खर्च होगा। इसे कंपनी खर्च करेगी।

''यह अभी प्रस्ताव के ही स्तर पर है। जब सरकार कंपनी को अनुमति देगी तब इस बात का ध्यान रखा जाएगा कि सरकार का इस पर कितना और कैसा नियंत्रण होगा। किराया आदि सहमति से तय हो और स्थानीय लोगों को रोजगार मिलने के साथ पहले से चल रहे ऑटो आदि के रोजगार पर असर न पड़े''।

- श्रीकांत शर्मा, ऊर्जा मंत्री

यह है प्रस्ताव की रूपरेखा

गोवर्धन के लिए

- 24 किमी होगी ट्रैक की कुल लंबाई

- 20 कुल स्टेशनों की संख्या

- 720 ट्रैक पर मौजूद पॉट की संख्या

- 02 लाख लोगों का एक दिन में मूवमेंट

वृंदावन के लिए

- 29 किमी ट्रैक की कुल लंबाई

- 43 कुल स्टेशनों की संख्या

- 870 ट्रैक पर मौजूद पॉट की संख्या

- 05 लाख लोगों का एक दिन में मूवमेंट

मथुरा के लिए

- 21 किमी ट्रैक की कुल लंबाई

- 42 कुल स्टेशनों की संख्या

- 630 ट्रैक पर मौजूद पॉट की संख्या

- 06 लाख लोगों का एक दिन में आवागमन

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