Women Day: मोदी सरकार का तोहफा, ताजमहल समेत कई स्मारकों पर लेडीज Entry Free
पहली बार अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर महिला पर्यटकों के लिए स्मारक रहेंगे फ्री। महानिदेशक उषा शर्मा नेे जारी की सूचना।
आगरा, जागरण संवाददाता। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर एक नई पहल की जा रही है। पहली बार मोदी सरकार के संस्कृति मंत्रालय ने महिलाओं को उनके इस विशेष दिवस पर तोहफा देने की घोषणा की है। इस दिन सभी संरक्षित स्मारकों में महिला पर्यटकों का प्रवेश निश्शुल्क रहेगा।
रविवार आठ मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस है। महिला समानता और अधिकारों के सम्मान के रूप में मनाए जाने वाले इस को संस्कृति मंत्रालय ने विशेष रूप से मनाने की तैयारी कर ली है। शनिवार सुबह भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की महानिदेशक उषा शर्मा द्वारा सूचना जारी की गई है। सूचना के अनुसार आठ मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के उपलक्ष्य में महिला पर्यटक एएसआइ द्वारा संरक्षित स्मारकों में निश्शुल्क प्रवेश पा सकेंगी। पहली बार महिलाओं के सम्मान में की गई इस पहल की आधी आबादी जमकर सराहना कर रही है। कमला नगर निवासी नीलिमा शर्मा इस पहल को महिलाओं के लिए तोहफा कहती हैं। तो जयपुर हाउय निवासी बबिता सिंह का कहना है कि छुट्टी के दिन पड़ रहे हमारे इस विशेष दिन को सरकार ने और भी खास बना दिया है।
बता दें कि अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का दिन देश, समूह या संगठन के लिए महत्वपूर्ण होता है। यह एक ऐसा दिन है जब महिलाओं की अद्भुत सामाजिक, सांस्कृतिक, आर्थिक और राजनीतिक उपलब्धियों का जश्न मनाते हैं और जेंडर इक्वालिटी की दिशा में अधिक प्रगति के लिए अभियान भी चलाए जाते हैं।
जानिए कब था पहला महिला दिवस
1975 में, संयुक्त राष्ट्र महासभा ने 8 मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाना शुरू किया।। 2014 तक, यह 100 से अधिक देशों में मनाया गया, और 25 से अधिक दिनों में ऑफिशियल हॉलीडे बना दिया गया था।
खास है इस दिन का रंग
अंतरराष्ट्रीय स्तर पर, बैंगनी रंग महिलाओं के प्रतीक के लिए एक रंग है। ऐतिहासिक रूप से महिलाओं की समानता का प्रतीक है बैंगनी, हरा और सफेद रंग। बैंगनी रंग न्याय और गरिमा का प्रतीक है। हरा रंग आशा का प्रतीक है। व्हाइट शुद्धता का प्रतीक है।
इस वर्ष की थीम
इस साल इंटरनेशनल विमेंस डे की थीम #EachforEqual है।
महिला दिवस की शुरुआत कैसे हुई
संयुक्त राष्ट्र ने अंतरराष्ट्रीय महिला साल 1975 में मनाना शुरू किया। 1977 में, संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूनाइटेड नेशन जेनरल असेंबली) ने सदस्य देशों को महिलाओं के अधिकारों और विश्व शांति के लिए 8 मार्च को इंटरनेशनल विमेंस डे के रूप में घोषित करने के लिए आमंत्रित किया।
क्या था कारण
महिलाओं के खिलाफ भेदभाव को खत्म करने के लिए दुनिया भर में इस दिन को मनाया जाता है। इस दिन को इसलिए भी सेलिब्रेट किया