जीएसटी के विरोध में व्यापारियों किया भारत बंद का समर्थन

जागरण संवाददाता, संगरूर : एक देश, एक कर का नारा लगाते हुए केंद्र सरकार की ओर से

By JagranEdited By: Publish:Fri, 30 Jun 2017 06:43 PM (IST) Updated:Fri, 30 Jun 2017 06:43 PM (IST)
जीएसटी के विरोध में व्यापारियों किया भारत बंद का समर्थन
जीएसटी के विरोध में व्यापारियों किया भारत बंद का समर्थन

जागरण संवाददाता, संगरूर :

एक देश, एक कर का नारा लगाते हुए केंद्र सरकार की ओर से 30 जून की रात को लागू किए गए जीएसटी के विरोध में भारत बंद के आह्वान पर संगरूर के सभी व्यापारिक अदारें पूर्ण तौर पर बंद रहे। दुकानदारों, कारोबारियों व व्यापारियों ने अपने अदारे मुकम्मल तौर पर बंद रखकर जीएसटीं का कड़ा विरोध जताया। साथ ही केंद्र सरकार से मांग की कि जीएसटी को लागू करने के फैसले को तुरंत रद करने का एलान किया जाए।

संगरूर के सुनामी गेट, पटियाला गेट, रोक्सी रोड, नाभा गेट, धूरी गेट, कोला पार्क के बाजार सुबह से ही मुकम्मल तौर पर बंद रहे। व्यापार मंडल के प्रधान जस¨वदर ¨सह ¨प्रस की अगुवाई में समूह दुकानदारों, कपड़ा व्यापारियों, होल सेल मार्केट, रेहड़ी यूनियन ने अपनी पूर्ण समर्थन देते हुए अपना व्यापार बंद रखे। शहर के बाहरी इलाके में खुली इक्का-दुक्का दुकानों को व्यापार मंडल ने बंद करवा दिया। इसी दौरान शहर के बीचोंबीच स्थित मंडी गली में स्वर्णकारों ने अपनी दुकानें खोले रखी, लेकिन व्यापार मंडल की ओर से समर्थन की अपील करने पर स्वर्णकारों ने सर्राफा बाजार बंद कर दिया। संगरूर सहित धूरी, मालेरकोटला, सुनाम, दिड़बा, अहमदगढ़ में भी मुकम्मल बंद रहा। पिछले दो दिन से कपड़ा व्यापारियों की दुकानें बंद रहने व शुक्रवार को शहर की करीब 400 दुकानें बंद होने के कारण करोड़ों रुपये का व्यापार ठप रहा।

खाने तक को नही मिली वस्तुएं

बंद के आह्वान तहत शहर में न तो कोई खाने-पीने की वस्तुओं की दुकान खुली व न ही रेहड़ियां लगी। इस कारण सरकारी दफ्तरों व अन्य विभागों में आने वाले मुलाजिम दोपहर के समय खाने-पीने की वस्तुओं की तलाश में भटकते रहे, लेकिन उन्हें कहीं से भी कुछ खाने को नहीं मिला। डीसी दफ्तर व तहसील दफ्तर के कर्मचारी प्रीतम ¨सह, जो¨गदर ¨सह, गोबिदंरपाल ¨सह ने बताया कि दोपहर लंच के समय भूख करने पर वह बाहर गए तो किसी भी जगह पर खाने का सामान नहीं मिला।

न मिले फल, न मिली सब्जियां

व्यापार मंडल के साथ ही रेहड़ी यूनियन की ओर से हड़ताल को पूरा समर्थन दिया गया, जिसके चलते शहर में न तो फलों की बिक्री हुई तथा न ही लोगों को घरों के लिए सब्जियां मिल पाई। सुबह से सुनामी गेट व कोला पार्क की सब्जी मंडी में सन्नाटा बसरा रहा, वहीं शहर के बाजारों में लगने वाली रेहड़ियां भी नहीं लगी। इस कारण लोगों का काफी परेशानी का समाना करना पड़ा। बेशक शाम के समय गांवों से सब्जिया बेचने के लिए इक्का-दुक्का सब्जी विक्रेता मंडी में सब्जी बेचने पहुंचे, लेकिन वह सभी की जरूरत को पूरा नहीं कर पाए।

दवाओं के लिए भटकते रहे मरीज

भारत बंद में जिले की केमिस्ट एसोसिएशन ने भी पूर्ण समर्थन देते हुए दवा की दुकानें बंद रखी। सिविल अस्पताल के समक्ष मौजूद केमिस्ट शाप सहित शहर की भी कैमिस्ट शाप बंद रही। इस कारण अस्पताल के मरीजों को दवा लेने के लिए भटकना पड़ा। किंतु शहर के रिहायशी इलाके में मौजूद केमिस्ट शाप से लोगों ने दवाओं की खरीद करके कुछ हद तक राहत महसूस की।

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