कर्मचारियों ने पंचायतीकरण के विरोध में लगाया धरना

संवाद सहयोगी, मालेरकोटला (संगरूर): वाटर सप्लाई एंड सेनिटेशन मंडल के स्थानीय दफ्तर समक्ष जल

By JagranEdited By: Publish:Fri, 20 Jul 2018 06:29 PM (IST) Updated:Fri, 20 Jul 2018 06:29 PM (IST)
कर्मचारियों ने पंचायतीकरण के विरोध में लगाया धरना
कर्मचारियों ने पंचायतीकरण के विरोध में लगाया धरना

संवाद सहयोगी, मालेरकोटला (संगरूर): वाटर सप्लाई एंड सेनिटेशन मंडल के स्थानीय दफ्तर समक्ष जल सप्लाई तालमेल संघर्ष कमेटी के बैनर तले सैंकड़ों फील्ड व दफ्तरी कर्मचारियों ने पंचायतीकरण के फैसले खिलाफ धरना लगाया। धरने उपरांत कर्मचारियों ने पंचायतीकरण के फैसले को वापस लेने संबंधी विभाग के सचिव के नाम मंडल कार्यकारी इंजीनियर के माध्यम से ज्ञापन दिया।

संघर्ष कमेटी के नेता हरजीत बालियां, गुरचरण अकोई साहिब, दर्शन चीमा, बल¨वदर ¨सह, भगवान फग्गूवाला ने कहा कि पंजाब सरकार लोगों को प्राथमिक बुनियादी सुविधाएं देने की अपनी संवैधानिक जिम्मेवारी से भाग रही है। सरकार अपने फर्ज से किनारा करके जल सप्लाई स्कीम पंचायतों के हवाले करके लोगों पर अतिरिक्त बोझ डाल रही हैं जबकि पंचायतें जल सप्लाई स्कीमें चलाने में असमर्थ हैं। इससे गांवों में धड़ेबंदी हमेशा बनी रहती है। जीवन कुमार, सरबजीत ¨सह, जगसीर ¨सह, सुख¨जदर ¨सह, हर¨वदर ¨सह, राम ¨सह, मोहम्मद यासीन, बूटा खेड़ी, रमेश चंद्र आदि ने कहा कि पंजाब सरकार द्वारा वर्ष 2005 में भी यह असफल तजुर्बे करके बहुत सारी जल सप्लाई योजना पंचायतों की मर्जी के खिलाफ धक्के से उनके हवाले की थी, वह जल सप्लाईयां ज्यादातर फेल हो चुकी हैं या खस्ताहाल में हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार एक तरफ ऐसे गलत फैसले लागू कर रही है दूसरी तरफ मुलाजिमों की मांगों को दरकिनार किया जा रहा है। उन्होंने छठे पे कमीशन की रिपोर्ट लागू करने, बकाया डीए की किश्तें जारी करने, कच्चे कर्मियों को पक्का करने, सर्विस नियम बनाने, हर वर्ग में प्रमोशन चालू करने, पंचायतीकरण के फैसले को लेकर पंचायतों को पहले सुपुर्द की जल सप्लाई योजना वापस विभाग को देने की मांग की।

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