नहीं बनी रक्त की कोई मशीन : पाहवा
जासं, पटियाला आज तक ऐसी कोई मशीन नहीं बनी जो रक्त का उत्पादन कर सके, क्योंकि रक्त की
जासं, पटियाला
आज तक ऐसी कोई मशीन नहीं बनी जो रक्त का उत्पादन कर सके, क्योंकि रक्त की पूर्ति केवल रक्त से ही संभव है। इस लिए समाज की भलाई के लिए लोगों को चाहिए कि वह आगे आकर रक्तदान करें।
यह बात थैलेसीमिया वेलफेयर सोसायटी के महासचिव विजय पाहवा ने कही। उन्होंने कहा कि दुनिया में सबसे बड़ा दान रक्तदान कहा गया है। रक्तदान करने वाला व्यक्ति सदा स्वस्थ रहता है और रक्तदान करने से कोई दुष्प्रभाव भी नहीं होता। युवाओं को रक्तदान के लिए प्रेरित करते हुए उन्होंने कहा कि तीन महीने में एक बार स्वस्थ व्यक्ति को अपना खून देना चाहिए। इस मौके पर राजेश शर्मा, सुनीता आदि उपस्थित थे।