तप त्याग से भरपूर था गुरुदेवों का जीवन : साध्वी मनीषा
इस अवसर पर गुरुणी मैया श्री मनीषा म. ने उनके जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि महापुरुषों ने साधना के महापथ पर ²ढ़ता से कदम बढ़ाए। गुरु सेवा संघ सेवा व समर्पण के माध्यम से सभी का ह्दय विजित किया।
संस, लुधियाना : गुरु आत्म-श्रमण-रत्न-क्रांति- प्रवेश, माला आदर्श, अल्का सुशिष्य मधुर वक्ता, वर्षीतप आराधिका प्रवचन प्रभाविका, मौन साधिका पू. श्री मनीषा म. सा. सिद्धांताचार्य, सेवाभावी पू. श्री प्राप्ति जी म. ठाणा-2 के पावन सानिध्य में द्वितीय पटट्धर आचार्य सम्राट पू. श्री आनंद ऋषि म. सा., उप-प्रवर्तक गुरुदेव श्री शुक्ल चंद महाराज का एवं 311 व्रतों द्वारा कीर्तिमान संस्थापिका, तपाचार्य उप-प्रवर्तक गुरु मां श्री मोहन माला जी महाराज व जन्म महोत्सव सामायिक दिवस एवं जप तप के सा. एस एस जैन स्थानक रुपा मिस्त्री गली में मनाया गया। सर्वप्रथम नवकार मंत्र का जाप हुआ। इस अवसर पर गुरुणी मैया श्री मनीषा म. ने उनके जीवन पर प्रकाश डालते हुए कहा कि महापुरुषों ने साधना के महापथ पर ²ढ़ता से कदम बढ़ाए। गुरु सेवा, संघ सेवा व समर्पण के माध्यम से सभी का ह्दय विजित किया। इस अवसर पर फरीदकोट से भी परम गुरु भक्तों ने गुरु दर्शनों व प्रवचनों का लाभ लिया। अखंड पाठ की लड़ी में आज की प्रभावना का लाभ नीलम जैन, आदर्श जैन नाहर परिवार वालों ने लिया।