नया नियमः कुत्ता रखने पर मालिक को देनी होगी उसकी फोटो और अपना आधार कार्ड

कुत्तों के काटने की घटनाओं के समाधान के लिए माणकराई के सरपंच लैंहबर सिंह एक अनूठा प्रयास शुरू किया है।

By Edited By: Publish:Tue, 25 Feb 2020 09:59 PM (IST) Updated:Wed, 26 Feb 2020 08:57 AM (IST)
नया नियमः कुत्ता रखने पर मालिक को देनी होगी उसकी फोटो और अपना आधार कार्ड
नया नियमः कुत्ता रखने पर मालिक को देनी होगी उसकी फोटो और अपना आधार कार्ड

भोगपुर [हरनेक सिंह]। आवारा कुत्तों के आतंक से लोग खौफजदा हैं। कुत्तों के काटने की कई घटनाएं सामने आ रही हैं। अब ऐसी घटनाओं से निपटने के लिए माणकराई के सरपंच लैहंबर सिंह ने एक अनूठा प्रयास शुरू किया है। गांव में कुत्ता रखने पर मालिक को अब उसकी फोटो देनी होगी और अपना आधार कार्ड की फोटो कॉपी जमा करवानी होगी।

इस बारे में लैंहबर सिंह ने बताया कि पिछले कुछ समय में गांव में कुत्तों के काटने की घटनाएं बड़ी हैं। हाल ही में एक मजदूर को कुत्तों ने नोच लिया, उसके पास इलाज करवाने के लिए पैसे नहीं थे। कुत्तों के काटने की घटना जब उन तक पहुंची, तो यह पता लगाना मुश्किल हो गया कि पीड़ित को किस कुत्ते ने काटा है। वह किसी का पालतू कुत्ता था या आवारा। इस समस्या के हल के लिए उन्होंने गांव के गुरुद्वारा साहिब में घोषणा करवाई कि गांव में जिस व्यक्ति ने कुत्ता पाला है। वह कुत्ते की फोटो के साथ अपना आधार कार्ड व मोबाइल नंबर सरपंच के पास जमा करवाएं ताकि भविष्य में अगर कोई कुत्ता किसी व्यक्ति को काटता है, तो कुत्ते और उसके मालिक का आसानी से पता लगाया जा सके।

सरपंच लैहंबर सिंह ने गांव वासियों से अपील की है कि वे अपने घरों में अधिक कुत्ते न रखें और घर में अपने पालतू कुत्ते के गले में पट्टा या संगली जरूर डाल कर रखें। उन्होंने कहा कि प्रतिबंधित नस्ल के कुत्ते रखने वाले लोगों पर जरूरत पड़ने पर कानूनी कार्रवाई भी की जाएगी। उन्होंने बताया कि एक मीटिंग के दौरान बीडीपीओ भोगपुर ने कुत्तों की जानकारी इकट्ठा करने की सलाह दी थी। उन्होंने माना कि आवारा कुत्ते केवल माणकराई में ही नहीं, बल्कि पूरे इलाके के लिए बड़ी समस्या है। आवारा कुत्तों के संबंध में प्रशासन को भी सूचित किया है।

गांव डल्ला में भी होगा यह प्रयास

उधर, गांव डल्ला की सरपंच हरदीप कौर ने माणकराई के सरपंच लैहंबर सिंह की तरफ से किए जा रहे प्रयासों की प्रशंसा की है। उन्होंने कहा कि वे जल्द ही माणकराई की तर्ज पर गांव डल्ला में भी लोगों के घरों में रखे कुत्तों की फोटो के साथ मालिक के आधार कार्ड वाली कार्रवाई को अंतिम रूप देंगी।

टिकटॉक ने बढ़ाया कुत्ते रखने का शौक 

लोगों में कुत्ते रखने का शौक बढ़ने का एक कारण सोशल मीडिया है। विभिन्न प्रकार के नस्ल के कुत्तों के साथ फोटो व वीडियो बनाकर टिकटॉक में डालने का चलन बढ़ रहा है। राज्य के अधिकतर गांवों में लोग अलग-अलग नस्ल के कुत्ते रखने के शौकीन होते जा रहे हैं और वीडियो बनाकर प्रसिद्धि पाने के लिए टिकटॉक में डाल रहे हैं। टिकटॉक में डाली गई अधिकतर वीडियो में पिटबुल व गुस्सैल स्वभाव के कुत्तों के दिखाया जाता है। नतीजतन, अब कुत्ते रखने का पैशन जनता पर भारी पड़ने लगा है। गांवों के खेत खलिहानों में रखे जाने वाले कुत्ते अगर कहीं संगली खुलवा लेते हैं तो वे आसपास खेल रहे बच्चों पर ही झपट पड़ते हैं। इससे घायल होने वाले बच्चों व लोगों की संख्या में एकाएक वृद्धि होने लगी है।

chat bot
आपका साथी