Good News: जालंधर में कोरोना का कोई भी मरीज वेंटीलेटर पर नहीं, 15 मरीज अस्पतालों में और 72 होम आईसोलेशन में
जालंधर के सरकारी और गैर सरकारी अस्पतालों में कोरोना का कोई भी गंभीर मरीज वेंटीलेटर पर नही है। जिले में कोरोना के 15 मरीज अस्पतालों में उपचाराधीन है और 72 मरीज होम आईसोलेशन में है। इसके साथ ही सरकारी वगैर सरकारी अस्पतालों में ज्यादातर वार्ड काली हो चुके है
जागरण संवाददाता, जालंधर। कोरोना के मरीजों की संख्या कम होने के साथ शहरवासियों के लिए एक अच्छी खबर है। जिले के सरकारी और गैर सरकारी अस्पतालों में कोरोना का कोई भी गंभीर मरीज वेंटीलेटर पर नही है। जिले में कोरोना के 15 मरीज अस्पतालों में उपचाराधीन है और 72 मरीज होम आईसोलेशन में है। इसके साथ ही सरकारी वगैर सरकारी अस्पतालों में ज्यादातर वार्ड काली हो चुके है और निजी अस्पतालों ने भी राहत की सांस ली है। निजी अस्पतालों ने अन्य बीमारियों के मरीजों का इलाज व आपरेशन शुरू कर दिए है। वहीं पंजाब हेल्थ सिस्टम कारपोरेशन के सबसे बड़े अस्पताल में भी कोरोना के केवल एक ही मरीज उपचाराधीन है। अस्पताल में दाखिल कोरोना के मरीजों को विशेष वार्ड में शिफ्ट किया जा रहा है।
सेहत विभाग से मिली जानकारी के अनुसार जिले में कोरोना के लेवल-2 के मरीजों का इलाज करने वाले 71 निजी अस्पताल है इनमें से सिविल अस्पताल, सेना का अस्पताल तथा चार निजी अस्पतालों में आठ मरीज उपचाराधीन है। लेवल -3 के 36 में से एक चेरीटेबल अस्पताल व चार निजी अस्पतालों में सात मरीज दाखिल है। सिविल अस्पताल में ट्रोमा वार्ड को गंभीर मरीजों के लिए आरक्षित रखा गया है और लेवल -दो के मरीजों के लिए मेल मेडिकल वार्ड में कोरोना के मरीजों की व्यवस्था की गई है।
आईएमए के नेशनल उपप्रधान डा. नवजोत सिंह दहिया का कहना है कि कोरोना के मरीजों की संख्या कम होने के बाद निजी अस्पतालों में कोरोना के लेवल-2 व 3 के लिए बेड आरक्षित रख कर शेष बेड दूसरी बीमारियों के मरीजों के इलाज के लिए इस्तेमाल करने शुरू कर दिए है। कोरोना के मरीजों की संख्या होने कोे बाद बड़ी राहत महसूस की है।
सिविल अस्पताल की मेडिकल सुपरिंटेंडेंट डा. सीमा का कहना का कि अस्पताल में मरीजों की संख्या काफी कम हो गई है। लेवल-3 के मरीजों के लिए ट्रोमा वार्ड के आईसीयू में 18 तथा लेवल-2 के लिए मेल मेडिकल वार्ड में 28 बेड रखे गए है।