Fazilka: पुरानी रंजिश के कारण चार नकाबपोश युवकों ने की थी बस कंडक्टर की हत्या

Fazilka पुलिस ने 16 नवंबर को हुई एक निजी बस कंडक्टर की हत्या की गुत्थी सुलझा ली है। पुलिस ने हत्या में शामिल चारों आरोपितों को काबू भी कर लिया है और हत्या में इस्तेमाल किए गए हथियार भी बरामद कर लिए है।

By RAJ KUMAR NARULA Edited By: Publish:Mon, 28 Nov 2022 06:19 PM (IST) Updated:Mon, 28 Nov 2022 10:13 PM (IST)
Fazilka: पुरानी रंजिश के कारण चार नकाबपोश युवकों ने की थी बस कंडक्टर की हत्या
Fazilka: पुरानी रंजिश के कारण चार नकाबपोश युवकों ने की थी बस कंडक्टर की हत्या : जागरण

अबोहर, जागरण संवाददाता: पुलिस ने 16 नवंबर को हुई एक निजी बस कंडक्टर की हत्या की गुत्थी सुलझा ली है। पुलिस ने हत्या में शामिल चारों आरोपितों को काबू भी कर लिया है और हत्या में इस्तेमाल किए गए हथियार भी बरामद कर लिए है। डीएसपी कार्यालय में सोमवार को एसपी डी गुरबिंदर सिंह संघा ने एक प्रेस वार्ता में इसका खुलासा किया।

एसपीडी स्घा ने बताया कि पूछताछ में हत्या की रंजिश यह सामने आई कि 5-7 महीने पहले आरोपित प्रदीप कुमार के भरा की मारपीट हुई थी जिस पर प्रदीप कुमार भीमसैन पर शक करता था। इसके अलावा मृतक भीम सैन व आरोपित प्रवीण कुमार उर्फ पीन्नू का घर नजदीक नजदीक है और कुछ समय पहले प्रवीण कुमार की तुड़ी वाली ट्राली भीम सेन के घर की दीवार के साथ टकरा गई थी जिसके बारे दोनों एक दूसरे को धमकियां देते रहते थे।

उन्होंने बताया कि सुरजीत सिंह पुत्र प्रीतम सिंह निवासी दलमीर खेड़ा एवीएम ट्रांसपोर्ट पर ड्राइवरी व भीम सेन पुत्र ओम प्रकाश निवासी वरियाम खेड़ा कंडक्टरी करता था। वह दोनों शाम को शेरगढ़ में बस रोककर मोटरसाइकिल पर गांव जाते थे कि 16 नवंबर को वह दोनों मोटरसाइकिल पर जा रहे थे और भीम सैन मोटरसाइकिल चला रहा था।

इस दौरान वरियाम खेड़ा से कुछ पीछे चार अज्ञात नकाबपोश नौजवान आए जिनके पास बेसबाल, कापे व राड इत्यादि थे रोककर बागड़ी भाषा में पूछा कि भीम सेन कौन है तो जैसे ही भीम सेन ने कहा मैं हूं तो उन्होंने उस पर ताबड़तोड़ हमला कर दिया और ड्राइवर सुरजीत सिंह ने छुडाने का प्रयास किया तो उन्होंने उसके साथ भी मारपीट की। जब उसने शोर मचाया तो वह सभी मोटरसाइकिलों पर फरार हो गए। भीम सैन की मौके पर ही मौत हो गई। जिस पर थाना खुइयां सरवर पुलिस ने अज्ञात लोगों के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी।

गुरबिंदर सिंह संघा ने बताया कि एसएसपी के दिशा-निर्देशों पर मामले की जांच को स्पेशल ब्रांच व सीआइए स्टाफ समेत अलग-अलग अलग टीमें गठित की गई जिस पर मौके से टावर डंप व सीडीआर हासिल कर अलग अलग पहलुओं व आधुनिक ढंगों से जांच की गई व शकी पुरुषों को शामिल तफतीश किया गया।

इस दौरान मृतक भीम सैन की बहन मंजू देवी पत्नी नरिंदर कुमार के बयानों पर 26 नवंबर को सोनू यादव पुत्र नंदराम, राजेश पुत्र रामचंद निवासी शेरगढ़, प्रवीण उर्फ पीन्नू पुत्र विनोद कुमार व प्रदीप कुमार पुत्र हनुमान निवासी वरियाम खेड़ा को आरोपित नामजद किया गया।

थाना प्रभारी बलजीत सिंह व स्पेशल ब्रांच के कर्मचारियों की मदद से 27 नवंबर को गांव वरियामखेड़ा से लिंक रोड हाकमाबाद राजस्थान के नजदीक नहर से आरोपित सोनू यादव, राजेश, प्रवीण उर्फ पीन्नू व प्रदीप कुमार को मोटरसाइकिल समेत काबू किया गया। जिन्होंने 28 नवंबर को अपना जुर्म कबूल कर लिया व आरोपितों से इस्तेमाल किए गए हथियार सोनू यादव से राड लौहा, प्रवीण उर्फ पीन्नू से टोकी, राजेश से बेसबाल व प्रदीप कुमार बेसबाल बरामद किए गए। उन्होंने बताया कि आरोपितों को अदालत में पेश कर रिमांड पर लेकर आगामी कारवाई व पूछताछ अमल में लाई जाएगी।

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