CM कैप्टन अमरिंदर का दावा-तीन साल में 12 लाख नौकरियां दीं, जारी किए आंकड़े

पंजाब के सीएम कैप्‍टन अमरिंदर सिंह ने कहा है कि उनकी सरकार ने राज्‍य में अपने तीन साल के शासनकाल में 12 लाख लोगों को नौकरियां दी हैं। उन्‍होंने इस बारे में आंकड़े भी जारी किए।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Publish:Sat, 08 Feb 2020 09:44 AM (IST) Updated:Sat, 08 Feb 2020 05:55 PM (IST)
CM कैप्टन अमरिंदर का दावा-तीन साल में 12 लाख नौकरियां दीं, जारी किए आंकड़े
CM कैप्टन अमरिंदर का दावा-तीन साल में 12 लाख नौकरियां दीं, जारी किए आंकड़े

चंडीगढ़, जेएनएन। पंजाब के मुख्‍यमंत्री कैप्‍टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि उनकी सरकार ने अपने शासन के तीन साल में पंजाब 12 लाख नौकरियां व रोजगार के अवसर मुहैया करवाए हैं। उन्होंने इसके आंकड़े भी जारी किए हैं। कैप्टन ने इस संबंध में शिरोमणि अकाली दल और सुखबीर बादल द्वारा लगाए गए आरोपों को भी खारिज किया। उन्‍होंने सुखबीर बाद पर जमकर हमला किया।

कैप्‍टन अमरिंदर सिंह ने कहा कि सुखबीर और उनकी नकारी हुई पार्टी के साथियों को कुछ भी पता नहीं लग रहा कि पंजाब में क्या हो रहा है? मेरे कहे हर शब्द पर प्रतिक्रिया देने के लिए अकाली नेता इतने तत्पर और बड़बोले रहते हैं कि वह असली तथ्यों को देखे बिना ही अनावश्यक और बेबुनियाद बयानबाजी शुरू कर देते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि 1 अप्रैल, 2017 से अब तक नौकरियां देने व रोजगार पैदा करने का आंकड़ा 11 लाख से भी ज्यादा है।

कितना रोजगार

-कैप्टन के अनुसार 1 अप्रैल, 2017 से 31 दिसंबर, 2019 तक 57,905 सरकारी नौकरियां दी गईं।

-3,96,775 प्राइवेट तौर पर प्लेसमेंट करवाई गई।

-7,61,289 को उनकी सरकार ने स्व-रोजगार के अंतर्गत मदद मुहैया करवाई।

-20,21,568 घर को मनरेगा स्कीम के अंतर्गत रोजगार दिया गया। इसके तहत 648.26 लाख रुपये अदा किए गए।

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कैप्टन को सोचना चाहिए कि खजाने का पैसा कहां गया : चंदूमाजरा

उधर दिड़बा (संगरूर) में शिअद  के वरिष्ठ नेता एवं पूर्व सांसद प्रो. प्रेम सिंह चंदूमाजरा ने कहा कि पंजाब सरकार पंचायती व सरकारी जायदाद बेचने को तैयार है, जिसका शिअद सख्त विरोध करेगी। पंजाब सरकार खजाना खाली होने का तीन वर्ष से ढिंढोरा पीट रही है।  मुख्यमंत्री अमरिंदरसिंह को सोचना चाहिए कि सरकारी पैसा कहां जा रहा है।

चंदूमाजरा ने कहा कि खजाना खाली होने के कारण संबंधी एक श्वेत पत्र छपना चाहिए, ताकि लोगों को पता चल सके कि उनसे टैक्स के रूप में इकट्ठा किया गया पैसा कहां लग रहा है। सरकारी व पंचायती जमीन बेचकर कभी भी सरकारी खजाना नहीं भरा जा सकता है।

उन्‍होंने सीएए के बारे में कहा कि वह किसी को भी नागरिकता देने को हक में हैं। इसमें केंद्र सरकार से मुस्लिम भाईचारे को भी शामिल करने की मांग की थी। रणजीत ङ्क्षसह ढंडरियां वाला विवाद संबंधी कहा कि यह सिख पंथ के लिए बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है, जिसे जल्द हल कर लिया जाएगा।

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