दो अक्टूबर से पॉलीथिन और प्लास्टिक का इस्तेमाल करने पर होगी पांच साल की जेल Chandigarh News
जिन दुकानों और शोरूमों पर बैन के बावजूद पॉलीथिन और प्लास्टिक का इस्तेमाल होते मिलता है उनके बिजली और पानी के कनेक्शन काटे जाएंगे।
चंडीगढ़ [ बलवान करिवाल]। पॉलीथिन और प्लास्टिक गुजरे जमाने की चीज होने वाली है। इसके इस्तेमाल की आदत जल्द ही बदलनी होगी। ऐसा नहीं करने पर पांच साल की सजा काटनी पड़ेगी। एक लाख रुपये तक का भारी जुर्माना भी ठोका जाएगा। दो अक्तूबर से यूटी प्रशासन एनवायरमेंट प्रोटेक्शन एक्ट-1986 के तहत यह सख्त प्रावधान करने जा रहा है।
अभी तक पॉलीथिन के इस्तेमाल पर केवल पांच हजार रुपये का चालान कटता था लेकिन अब यह एक लाख तक भरना होगा। मोटर व्हीकल एक्ट की तरह यह नोटिफिकेशन लागू होते ही लोगों को या तो अपनी आदत बदलनी होगी नहीं तो सख्ती के लिए तैयार रहना होगा। इस एक्ट के सेक्शन-15 के तहत सजा और जुर्माने का प्रावधान किया है। इसी ड्राफ्ट नोटिफिकेशन को 60 दिन दो अक्तूबर से पहले पूरे हो रहे हैं। अभी इस पर लोगों से आपत्तियां और सुझाव मांगे हुए हैं। लोगों के सुझाव और आपत्तियां देखने के बाद प्रशासन इसे हर हालत में दो अक्तूबर से पहले लागू करने वाला है।
बिजली और पानी का कटेगा कनेक्शन
सख्ती सिर्फ आम लोगों पर नहीं होगी बल्कि दुकानदारों और शोरूम संचालकों पर भी गाज गिरेगी। जिन दुकानों और शोरूमों पर बैन के बावजूद पॉलीथिन और प्लास्टिक का इस्तेमाल होते मिलता है तो उनके बिजली और पानी के कनेक्शन काटे जाएंगे। एक्ट के सेक्शन-5 के अनुसार यह प्रावधान किया गया है। बात कनेक्शन कटने तक ही सीमित नहीं रहेगी, दुकान और शोरूम बंद भी हो सकते हैं। इसे सील करने का भी प्रावधान है।
इनका इस्तेमाल कर दें बंद
प्लास्टिक कटलरी जिसमें प्लेट, कप, गिलास, बाउल्स, फोरक, चाकू, चम्मच और स्ट्रॉ थर्मोकोल कटलरी जिसमें प्लेट, कप और बाउल -होटलों में खाना पैक करने के लिए इस्तेमाल होने वाले डिस्पोजेबल बर्तन और बाउल सिल्वर प्लास्टिक फॉयल बैग और प्लास्टिक सिल्वर पाउच 500 मिलीलीटर से छोटी पानी की बोतल और पैकिंग गिलास एक बार इस्तेमाल होने वाली रेजर्स, पेन, ऑफिस और एजुकेशन में इस्तेमाल होने वाली प्लास्टिक स्टेशनरी प्रोडक्ट्स प्लास्टिक और थर्माेकोल से डेकोरेशन -नॉन वोवन पोली प्रोपिलीन बैग्स