बगैर अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र के चल रहा एमसीएच

राउरकेला सरकारी अस्पताल परिसर में स्थित सौ बेड वाले मां व शिशु अस्पताल में अग्नि सुरक्षा के अत्याधुनिक उपकरण लगाने के साथ-साथ पुख्ता इंतजाम कर लिए गए हैं पर अब तक विभाग से अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र नहीं मिल पाया है।

By JagranEdited By: Publish:Mon, 11 Jan 2021 08:39 AM (IST) Updated:Mon, 11 Jan 2021 08:39 AM (IST)
बगैर अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र के चल रहा एमसीएच
बगैर अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र के चल रहा एमसीएच

जागरण संवाददाता, राउरकेला : राउरकेला सरकारी अस्पताल परिसर में स्थित सौ बेड वाले मां व शिशु अस्पताल में अग्नि सुरक्षा के अत्याधुनिक उपकरण लगाने के साथ-साथ पुख्ता इंतजाम कर लिए गए हैं पर अब तक विभाग से अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र नहीं मिल पाया है। मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के द्वारा चुनाव के दौरान इसका उद्घाटन करने के बाद इस अस्पताल को मां व शिशु के लिए चालू कर दिया गया है।

महाराष्ट्र के भंडारा जिला अस्पताल में अग्निकांड में दस शिशु की मौत हो गई। देश भर के अस्पतालों में अग्नि सुरक्षा को लेकर खलबली मची हुई है। ओडिशा सरकार की ओर से अग्निशमन विभाग को सतर्क रहने तथा इसकी जांच करने संबंधित निर्देश नहीं मिले हैं। इसके बाद भी राउरकेला अग्निशमन विभाग की ओर से इस पर नजर रखी जा रही है। राउरकेला सरकारी अस्पताल परिसर स्थित मां एवं शिशु अस्पताल का उद्घाटन मुख्यमंत्री नवीन पटनायक के द्वारा 2018 में किया गया था। अस्पताल के सभी तल में अग्नि सुरक्षा तथा इसका प्रमाणपत्र नहीं मिलने के कारण इसे खोलने में पहले ही विलंब हो चुका था। उद्घाटन के बाद यहां अत्याधुनिक फायर हाइड्रेंट सुरक्षा व्यवस्था है जो स्वचालित हैं। किसी स्थान पर आग लगते ही स्वत: पानी निकलेगा एवं आग बुझ जाएगी। जगह-जगह फायर इंस्टीग्यूशर लगाए गए हैं। आग लगते ही इसके जरिए उसपर काबू पाया जा सकता है। इसके लिए अस्पताल कर्मियों को समय समय पर प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है। आग पर निगरानी रखने के लिए अस्पताल में अग्निशमन कर्मियों की नियुक्ति की प्रक्रिया चल रही है। बिजली के शॉट सर्किट न हो इस पर भी विशेष ध्यान रखा गया है। इसी सप्ताह रोगी कल्याण कमेटी की बैठक में रोगी भर्ती होने वाले अन्य विभागो को भी अग्निशमन सुविधायुक्त बनाने का निर्णय लिया गया है। इसके लिए आवश्यक राशि जिला खनिज कोष से उपलब्ध कराई जाएगी। अस्पताल में अग्नि सुरक्षा के लिए अत्याधुनिक सुविधा है। प्रमाणपत्र को लेकर आवेदन दिया गया है एवं इसकी प्रक्रिया चल रही है। अग्निसुरक्षा का मॉक ड्रिल भी समय-समय पर होता है एवं कर्मियों को प्रशिक्षण भी दिया जाता है। सभी कक्ष व आसपास अग्निशमन विभाग का नंबर है ताकि आपात स्थिति में विभाग को सूचना दी जा सके।

- मोहित श्रीवास्तव, अस्पताल प्रबंधक, आरजीएच। राउरकेला सरकारी अस्पताल में मां-शिशु अस्पताल को अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र नहीं मिला है। एडीएम के साथ अस्पताल में सुरक्षा का मुआयना किया था एवं तब वहां इसका काम चल रहा था। अग्नि सुरक्षा के प्रति अस्पताल कर्मियों समेत आम लोगों को भी जागरूक किया जाता रहा है। अस्पताल के लिए सुरक्षा के साथ प्रमाणपत्र लेना भी जरूरी है।

- बीके सिंह, डिप्टी फायर आफिसर, राउरकेला।

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