लीबिया में अपहृत किए गए सात भारतीयों को मुक्त कराया गया, जल्द लौटेंगे भारत
लीबिया में अपहृत किए गए सात भारतीयों को मुक्त करा लिया गया है। विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि 14 सितंबर को लीबिया के अस्सहवेरिफ इलाके में अगवा किए गए सात भारतीय नागरिकों को आखिरकार रविवार को रिहा कर दिया गया।
नई दिल्ली, एएनआइ। लीबिया में अपहृत किए गए सात भारतीयों को मुक्त करा लिया गया है। विदेश मंत्रालय ने बयान जारी कर कहा कि 14 सितंबर को लीबिया के अस्सहवेरिफ इलाके में अगवा किए गए सात भारतीय नागरिकों को आखिरकार रविवार को रिहा कर दिया गया। ट्यूनीशिया के भारतीय राजदूत पुनीत रॉय कुंडल ने अपहरणकर्ताओं द्वारा सौंपे जाने के बाद कंपनी अल शोला अल मुदिया से बातचीत की। सभी का स्वास्थ्य अच्छा है। वे सभी वर्तमान में ब्रेगा में कंपनी के परिसर में रह रहे हैं। हम भारत लौटने के लिए आवश्यक औपचारिकताओं को पूरा करने की कोशिश कर रहे हैं। ये सभी भारतीय काम के सिलसिले में लीबिया गए थे।
All of them are in good health and are currently staying in the company’s premises in Brega. We are trying to complete requisite formalities to enable their return to India: Ministry of External Affairs (MEA) https://t.co/0vqvvvc2lf" rel="nofollow— ANI (@ANI) October 12, 2020
ज्ञात हो कि लीबिया में पिछले महीने सात भारतीयों के अपहरण के बाद विदेश मंत्रालय उनकी रिहाई के लिए लीबियाई अधिकारियों के संपर्क में था। अपहृत भारतीयों में आंध्र प्रदेश, बिहार, गुजरात और उत्तर प्रदेश के लोग शामिल हैं। अपहृत भारतीय वहां तेल कंपनी में काम करते थे।
पिछले दिनों विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अनुराग श्रीवास्तव ने बताया था कि इन भारतीयों का अपहरण 14 सितंबर को अस्सहवेरिफ इलाके से उस समय कर लिया गया, जब वे भारत के लिए उड़ान पकड़ने त्रिपोली हवाई अड्डे जा रहे थे। अपहर्ताओं ने नियोक्ता से संपर्क किया था। उनके फोटो दिखाए हैं कि वे सभी सुरक्षित हैं। उन्होंने कहा कि सरकार इन लोगों के परिवार के संपर्क में है और आश्वासन दिया था कि लीबियाई अधिकारियों तथा नियोक्ता के साथ वार्ता और समन्वय कर हम अपने मुक्त कराया गया।
बता दें कि हिंसाग्रस्त लीबिया में भारतीय नागरिकों के न जाने के लिए सरकार की ओर से सितंबर 2015 में एक एडवाइजरी जारी की गई थी। मई 2016 में केंद्र सरकार ने लीबिया जाने पर पूर्ण प्रतिबंध लगा दिया था। यह यात्रा प्रतिबंध अभी भी जारी है।