मैगी: लेड-एमएसजी का पता लगाने के लिए मैसूर लैब को 8 हफ्ते का निर्देश

मैगी मामले में सुप्रीम कोर्ट मे मैसूर लैब को जांच करने के लिए 8 हफ्ते का समय दिया है। अदालत ने फैसले में कहा कि लैब को ये निर्देश दिए है कि वो पता लगाए कि मैगी में में लेड और ग्लुटैमिक एसिड की मात्रा तय मानक के अंदर है

By Lalit RaiEdited By: Publish:Wed, 13 Jan 2016 11:51 AM (IST) Updated:Wed, 13 Jan 2016 12:07 PM (IST)
मैगी: लेड-एमएसजी का पता लगाने के लिए मैसूर लैब को 8 हफ्ते का निर्देश

नई दिल्ली। मैगी मामले में सुप्रीम कोर्ट मे मैसूर लैब को जांच करने के लिए 8 हफ्ते का समय दिया है। अदालत ने फैसले में कहा कि लैब को ये निर्देश दिए है कि वो पता लगाए कि मैगी में में लेड और ग्लुटैमिक एसिड की मात्रा तय मानक के अंदर है या नहीं। इस केस में अगली सुनवाई चार अप्रैल को होगी।

नेस्ले की 'मैगी' नूडल्स कोर्ट में लंबी लड़ाई के बाद बाजार में आ गई है, लेकिन भी विवादो के घेरे में है। सुप्रीम कोर्ट FSSAI की याचिका पर सुनवाई कर रहा है जिसमें बोंबे हाईकोर्ट के मैगी से बैन हटाने के आदेश को चुनौती दी गई है। FSSAI की दलील है कि सैंपल नेस्ले ने ही लैब को दिए जबकि किसी स्वतंत्र एजेंसी को सैंपल लेने चाहिए थे। इसके अलावा मान्यता प्राप्त लेब में ही टेस्टिंग होनी चाहिए।पिछली सुनवाई में कोर्ट ने 'मैगी' नूडल्स के सैंपल्स को फिर से जांच के लिए मैसूर की लैब में भेजे जाने का आदेश दिया था और नेस्ले को नोटिस जारी कर जवाब मांगा था। नेस्ले ने बैन को मनमाना बताया है।

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