तीन साल में भारतीय एनजीओ को विदेश से 49,000 करोड़ रुपये मिले : नित्यानंद राय

केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा में बुधवार को एक लिखित जवाब में बताया कि विदेशी अंशदान (नियमन) संशोधन अधिनियम 2020 के लागू होने से पहले एफसीआरए बैंक खाते अधिसूचित बैंकों की किसी भी शाखा में खोले जा सकते थे।

By Neel RajputEdited By: Publish:Wed, 11 Aug 2021 10:09 PM (IST) Updated:Wed, 11 Aug 2021 10:09 PM (IST)
तीन साल में भारतीय एनजीओ को विदेश से 49,000 करोड़ रुपये मिले : नित्यानंद राय
एफसीआरए खाता नई दिल्ली स्थित भारतीय स्टेट बैंक की मुख्य शाखा में ही खोला जाना है

नई दिल्ली, प्रेट्र। सरकार ने कहा है कि पिछले तीन वर्षों में देश में 18,000 गैर सरकारी संगठनों (एनजीओ) को विदेश से 49,000 करोड़ रुपये मिले। इनमें से वर्ष 2017-18 में एनजीओ को विदेश से 16,940.58 करोड़ रुपये, वर्ष 2018-19 में 16,525.73 करोड़ रुपये और 2019-20 में 15,853.94 करोड़ रुपये मिले।

केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय ने राज्यसभा में बुधवार को एक लिखित जवाब में बताया कि विदेशी अंशदान (नियमन) संशोधन अधिनियम, 2020 के लागू होने से पहले एफसीआरए बैंक खाते अधिसूचित बैंकों की किसी भी शाखा में खोले जा सकते थे। उन्होंने कहा कि विदेशी अंशदान (नियमन) संशोधन अधिनियम, 2020 में व्यवस्था दी गई है कि किसी विदेशी स्त्रोत से विदेशी अंशदान पहली बार भेजने या प्राप्त करने के लिए प्रत्येक एफआरसीए एनजीओ द्वारा एफसीआरए खाता अब अनिवार्य रूप से नई दिल्ली स्थित भारतीय स्टेट बैंक की मुख्य शाखा में ही खोला जाना है। स्टेट बैंक ने बताया है कि 31 जुलाई 2021 तक कुल 18377 नामित एफसीआरए खाते खोले गए हैं।

तीन साल में पुलिस हिरासत में 348 लोगों की मौत

नित्यानंद राय ने एक अन्य लिखित उत्तर में कहा कि पिछले तीन साल के दौरान पुलिस हिरासत में 348 लोगों जबकि न्यायिक हिरासत में 5221 लोगों की मौत हो गई। उत्तर प्रदेश में 2018 से 2020 के दौरान 23 लोगों की पुलिस हिरासत में मौत हो गई जबकि न्यायिक हिरासत में 1,295 लोगों की मौत हो गई।

राय ने बताया कि मध्य प्रदेश में इस अवधि के दौरान 34 लोगों की मौत पुलिस हिरासत में हुई जबकि न्यायिक हिरासत में 441 की मौत हुई। बंगाल में पुलिस हिरासत में आठ और न्यायिक हिरासत में 407 की मौत हुई और महाराष्ट्र में पुलिस हिरासत में 27 एवं 370 की मौत न्यायिक हिरासत में हुई।

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