सेना ने दिखाई दयालुता, भटक कर भारतीय इलाके में आए पशुओं को चीनी अधिकारियों को सौंपा

भारतीय सेना ने अरुणाचल प्रदेश के पूर्वी कामेंग में 31 अगस्त को चीनी नागरिकों के 13 याक और चार बछड़ों को चीन के अधिकारियों को सौंप दिया।

By Krishna Bihari SinghEdited By: Publish:Mon, 07 Sep 2020 10:52 PM (IST) Updated:Tue, 08 Sep 2020 04:32 AM (IST)
सेना ने दिखाई दयालुता, भटक कर भारतीय इलाके में आए पशुओं को चीनी अधिकारियों को सौंपा
सेना ने दिखाई दयालुता, भटक कर भारतीय इलाके में आए पशुओं को चीनी अधिकारियों को सौंपा

नई दिल्‍ली, एएनआइ। पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा यानी एलएसी पर जारी गतिरोध के बीच भारतीय सेना ने एकबार फ‍िर चीनी नागरिकों के प्रति मानवता की मिसाल पेश की है। भारतीय सेना की पूर्वी कमान की ओर से जारी बयान में बताया गया है कि इंडियन आर्मी के जवानों ने अरुणाचल प्रदेश (Arunachal Pradesh News) के पूर्वी कामेंग (East Kameng) में 31 अगस्त को चीनी नागरिकों के 13 याक और चार बछड़ों को चीन के अधिकारियों को सौंप दिया। ये पशु भटककर भारतीय क्षेत्र में दाखिल हो गए थे। चीनी अधिकारियों ने इस दयालुता के लिए भारतीय सेना को धन्यवाद दिया।

अभी हाल ही में भारतीय सेना ने उत्तरी सिक्किम के पठारी इलाके में 17,500 फीट की ऊंचाई पर तीन चीनी नागरिकों को बचाया था। ये तीनों चीनी नागरिक रास्ता भटककर भारतीय इलाके में दाखिल हो गए थे। भारतीय सेना की ओर से जारी बयान के मुताबिक, चीनी नागरिकों को ऑक्सीजन, खाना और गर्म कपड़े समेत चिकित्सा सहायता उपलब्ध कराई गई थी। यही नहीं इलाके में तैनात भारतीय सैनिकों ने चीनी नागरिकों को चीनी सीमा में लौट जाने और अपने गंतव्य तक पहुंचने के लिए रास्ता भी दिखाया था।

भारतीय सेना के जवानों का यह मानवीय रुख ऐसे समय में सामने आया है, जब पूर्वी लद्दाख में वास्तविक नियंत्रण रेखा पर उन्हें चीनी सेना के आक्रामक रवैये का सामना करना पड़ रहा है। भारतीय सेना ने बताया कि चीनी नागरिक उत्तरी सिक्किम के पठारी इलाके में रास्ते से भटक गए थे। शून्य के करीब तापमान में चीनी नागरिकों की जिंदगी पर खतरे का पता चलते ही भारतीय सैनिक उनके पास पहुंचे और उनकी मदद की। चीनी नागरिकों ने तत्काल मदद के लिए भारतीय सेना का आभार प्रकट किया था। 

इस बीच चीन ने अरुणाचल प्रदेश के पांच युवकों के बारे में जवाब देने के बजाय उल्टे अरणाचल प्रदेश को ही अपना हिस्सा बताने लगा है। अरुणाचल प्रदेश पुलिस ने बताया कि अभी तक युवकों के बारे में कोई सुराग नहीं मिल पाया है। बीजिंग में चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता झाओ लिजियान से जब अगवा युवकों के बारे में पूछा गया तो उन्होंने अरुणाचल प्रदेश को दक्षिणी तिब्बत का हिस्सा बता दिया। बाद में जब पत्रकारों ने दोबारा अगवा युवकों के बारे में पूछा तो चीनी प्रवक्ता ने कहा कि उनको इसके बारे में कुछ भी नहीं पता है।

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