रक्षा सेवा से जुड़े सदस्यों की सूची दे आदर्श सोसाइटी

बांबे हाई कोर्ट ने घोटाले में फंसी आदर्श हाउसिंग सोसाइटी से उन सदस्यों की सूची सौंपने को कहा है जो रक्षा सेवा से जुड़े हैं या मौजूदा समय में कार्यरत हैं। मुख्य न्यायाधीश मोहित शाह और न्यायमूर्ति एके मेनन की खंडपीठ ने आदेश दिए हैं।

By Gunateet OjhaEdited By: Publish:Mon, 22 Jun 2015 09:29 PM (IST) Updated:Mon, 22 Jun 2015 09:43 PM (IST)
रक्षा सेवा से जुड़े सदस्यों की सूची दे आदर्श सोसाइटी

मुंबई। बांबे हाई कोर्ट ने घोटाले में फंसी आदर्श हाउसिंग सोसाइटी से उन सदस्यों की सूची सौंपने को कहा है जो रक्षा सेवा से जुड़े हैं या मौजूदा समय में कार्यरत हैं। मुख्य न्यायाधीश मोहित शाह और न्यायमूर्ति एके मेनन की खंडपीठ ने सोसाइटी के घोटाले से जुड़ी कई याचिकाओं की सुनवाई के दौरान यह निर्देश दिया।

हाई कोर्ट ने सोसाइटी से उन सदस्यों की सूची मांगी जो सेना या नौसेना में काम कर रहे हैं या काम कर चुके हैं। कोर्ट ने महाराष्ट्र सरकार को इस घोटाले की जांच करने वाली दो सदस्यीय आयोग की रिपोर्ट सौंपने का भी निर्देश दिया। कोर्ट ने सदस्यों की सूची और आयोग की रिपोर्ट 20 जुलाई तक सौंपने को कहा है।

कोलाबा में बनी 31 मंजिला इमारत को लेकर विवाद तब शुरू हुआ, जब यह कहा गया कि इसके निर्माण में नियमों की अनदेखी की गई और निर्माण से पहले रक्षा और केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालयों की आवश्यक मंजूरी नहीं ली गई। केंद्रीय पर्यावरण एवं वन मंत्रालय ने कुछ साल पहले नियमों के उल्लंघन को लेकर इमारत को गिराने का आदेश दिया था। तब आदर्श सोसाइटी ने हाई कोर्ट में इस आदेश को चुनौती दी। इसके बाद दिसंबर 2012 में रक्षा मंत्रालय ने हाई कोर्ट में मालिकाना हक को लेकर मुकदमा दायर किया और कहा कि जिस जमीन पर इस इमारत का निर्माण किया गया, वह उसकी है। उसने इस पर अपना कब्जा लेने की मांग की। सोसाइटी ने इसका विरोध करते हुए कहा कि रक्षा मंत्रालय की तरफ से केवल रक्षा इस्टेट यह मुकदमा दाखिल कर सकता है।

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