कार्तिक पूर्णिमा पर श्रीरामरेखाधाम में उमड़े श्रद्धालु

श्री रामरेखा धाम में तीसरे दिन कार्तिक पूर्णिमा के शुभ अवसर पर बड़ी संख्या

By JagranEdited By: Publish:Mon, 30 Nov 2020 08:44 PM (IST) Updated:Mon, 30 Nov 2020 08:44 PM (IST)
कार्तिक पूर्णिमा पर श्रीरामरेखाधाम में उमड़े श्रद्धालु
कार्तिक पूर्णिमा पर श्रीरामरेखाधाम में उमड़े श्रद्धालु

जासं,सिमडेगा: श्री रामरेखा धाम में तीसरे दिन कार्तिक पूर्णिमा के शुभ अवसर पर बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने गुफा मंदिर में दर्शन एवं

पूजन किया। धाम परिसर में विशेष रूप से पूजा पाठ हुई एवं प्रभु श्रीराम से देशवासियों के लिए सुख- समृद्धि की कामना की गई। मौके पर ब्रह्मालीन रामरेखाबाबा जयराम प्रपन्नाचार्य महाराज को भी याद किया गया। कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर रामरेखा धाम में दूर-दूर से आए श्रद्धालुओं ने दर्शन एवं पूजन विधि- विधान पूर्वक कोविड के नियमों को पालन करते हुए किया।विश्व हिदू परिषद के अध्यक्ष रामरेखा धाम विकास समिति के संरक्षक कौशल राज सिंह देव ने श्रद्धालुओं के बीच कार्तिक पूर्णिमा के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा इस दिन पूर्ण श्रद्धा के साथ गंगा स्नान दीपदान हवन यज्ञ अपनी साम‌र्थ्य के अनुसार दान गरीबों को भोजन कराने से सभी सांसारिक पापों से छुटकारा मिलता है। इस दिन किए जाने वाले धन और वस्त्र दान का भी बहुत महत्व है।उन्होंने कहा सृष्टि के प्रारंभ से ही कार्तिक पूर्णिमा की तिथि बड़ी ही खास रही है।पुराणों में भी कार्तिक पूर्णिमा को स्नान, व्रत, तप, और दान को मोक्ष प्रदान करने वाला बताया गया है। हिदू पंचांग के अनुसार वर्ष का आठवां महीना कार्तिक मास कहलाता है, कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा कार्तिक पूर्णिमा का कहलाती है। हिदू धर्म में इस तिथि को पवित्र मानने के पीछे एक कारण यह भी है कि इस दिन को ब्रह्मा, विष्णु,शिव, अंगिरा और आदित्य जैसे देवताओं का दिन माना गया है।इसी दिन भगवान विष्णु का प्रथम अवतार मत्स्य अवतार हुआ था। भगवान को यह अवतार वेदों, प्रलय के अंत तक सप्तऋषियों, अनाजों एवं राजा सत्यव्रत की रक्षा के लिए लेना पड़ा था। विदित हो कि रामरेखाधाम

भगवान राम के आगमन के स्मरण से जुड़ा हुआ है।यही कारण है कि

यहां कण-कण में भगवान रचे- बसे हुए हैं। जिनका आशीर्वाद प्राप्त

करने के लिए दूर-दूर से लोग पहुंचते हैं। कार्तिक पूर्णिमा पर नहीं हुआ मेला का आयोजन

सिमडेगा :श्री रामरेखाधाम में पहली बार कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर

मेला नहीं लगा। पूरा मेला परिसर खाली पड़ा रहा। कोविड के कारण

इस बार सभी श्रद्धालु भी मास्क पहनकर धाम में पहुंचे थे। लोगों ने

शारीरिक दूरी बरतते हुए गुफा मंदिर में पूजा-अर्चना की। श्रद्धालुओं के लिए बेहतर प्रबंध

सिमडेगा : श्रीरामरेखाधाम में आने वाले श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए

धाम विकास समिति एवं प्रशासन के द्वारा बेहतर प्रबंध किए गए थे।

पेयजल, लाइट, वाहन पड़ाव आदि की सुविधा बहाल की गई थी।इस

क्रम में पुलिस जवान एवं समिति के पदाधिकारी-कार्यकर्ता पूरी तरह

मुस्तैद नजर आए।

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