आग लगने पर ऐसे करें बचाव, पढ़ें यह रिपोर्ट

सूरत में कोचिंग इंस्टीट्यूट में आग लगने से कई जानें चली गई। अधिकांश छात्रों को अग्निशमन यंत्रों के इस्तेमाल की जानकारी नहीं थी। दैनिक जागरण अापको आग से बचाव के उपाय बता रहा है।

By Sujeet Kumar SumanEdited By: Publish:Tue, 04 Jun 2019 11:52 AM (IST) Updated:Tue, 04 Jun 2019 04:42 PM (IST)
आग लगने पर ऐसे करें बचाव, पढ़ें यह रिपोर्ट
आग लगने पर ऐसे करें बचाव, पढ़ें यह रिपोर्ट

रांची, जासं। Ranchi - सूरत में बीते दिनों कोचिंग इंस्टीट्यूट में आग लगने से कई जानें चली गई। अग्निशमन विभाग के अनुसार अगलगी में फंसे अधिकांश विद्यार्थियों को अग्निशमन यंत्रों के इस्तेमाल की जानकारी नहीं थी। छात्रों में आग से बचाव को लेकर जागरुकता फैलाने के उद्देश्य से दैनिक जागरण के सुरक्षा सप्ताह के तहत शहर के विभिन्न कोचिंग-संस्थानों में आग से बचाव व अग्निशमन यंत्रों के इस्तेमाल की ट्रेनिंग दी जा रही है।

सोमवार को लालपुर स्थित एकेएस एकेडमी के विद्यार्थियों को अगलगी से बचाव की जानकारी दी गई। जानकारी देते हुए अग्निशमन विभाग के मनोज कुमार ने बताया कि आग लगने के लिए तीन चीजों की जरूरत होती है। ईंधन, ऑक्सीजन और गर्मी। अगर तीनों चीजों को आपस में मिलने न दिया जाए तो आग लगने से बचाया जा सकता है। गर्मी जब अपने चरम पर होती है तो ट्रेन के पहिए से निकली हुई एक चिंगारी भी उग्र आग का रूप ले सकती है।

उन्होंने बताया कि इसके अतिरिक्त एक ही कमरे में गैस का चूल्हा, अंगीठी और बिजली का स्टोव एक साथ नहीं जलाएं। आग लगने पर तत्काल अग्निशमन विभाग को सूचित करें और टीम के पहुंचने तक आग बुझाने की यथासंभव कोशिश करते रहें। इसके अतिरिक्त आग से बचाव के बारे में बताते हुए कहा कि जिस तरह आग लगने के तीन चीजों की जरूरत पड़ती है, ठीक उसी तरह आग बुझाने के लिए भी तीन चीजों कूलिंग, स्टारवेशन और स्मदरिंग मैथड की जानकारी होनी चाहिए।

नियम के विरुद्ध एलपीजी सिलिंडर का भंडारण न करें

भवनों में अग्नि सुरक्षा के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि गैस सिलिंडर नियम के विरुद्घ एलपीजी सिलिंडर का भंडारण न करें। आग लगने पर लिफ्ट का प्रयोग न करें। सुरक्षा के लिए लगाए गए उपकरणों को उनके स्थान से कहीं और स्थानांतरित न करें। साथ ही कुकिंग गैस सिलिंडर में जरा सी भी लीकेज होने का आभास होते ही पास-पड़ोस की अन्य अंगीठियों या जलती हुई बीड़ी-सिगरेट को बुझा दें और जब तक घर का वायुमंडल शुद्ध न हो जाए, वहां माचिस तक न जलाएं। इस प्रशिक्षण कार्यशाला में मुख्य रूप से कोचिंग के निदेशक अजित कुमार साहू भी मौजूद थे।

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