पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के नाम पर अधिवक्ता से मांगी लेवी, गिरफ्तार

जागरण संवाददाता लोहरदगा पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के नाम पर लोहरदगा व्यवहार न्यायालय के वरीय अधिवक्त से लेवी मांगी गई थी।

By JagranEdited By: Publish:Fri, 11 Sep 2020 09:28 PM (IST) Updated:Sat, 12 Sep 2020 05:07 AM (IST)
पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के नाम पर अधिवक्ता से मांगी लेवी, गिरफ्तार
पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के नाम पर अधिवक्ता से मांगी लेवी, गिरफ्तार

जागरण संवाददाता, लोहरदगा : पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के नाम पर लोहरदगा व्यवहार न्यायालय के वरीय अधिवक्ता से 51 हजार रुपये लेवी मांगने के आरोपित को पुलिस ने धर दबोचा है। एसपी प्रियंका मीना के निर्देश पर सदर थाना पुलिस ने त्वरित कार्रवाई करते हुए नामजद आरोपित को गिरफ्तार करने में उल्लेखनीय सफलता पाई है। प्राथमिकी दर्ज होने के महज 24 घंटे के भीतर इस मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए आरोपित किस्को थाना अंतर्गत होंदगा गांव निवासी जमाल अंसारी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। पीएलएफआइ के नाम पर लगातार लेवी मांगने से परेशान अधिवक्ता ने सदर थाने में किस्को थाना क्षेत्र के होंदगा गांव निवासी स्वर्गीय मुस्तकीम अंसारी के पुत्र जमाल अंसारी के विरूद्ध नामजद प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इस मामले में सदर थाना पुलिस ने एसपी के निर्देश पर त्वरित कार्रवाई करते हुए 24 घंटे के भीतर आरोपित होंदगा गांव निवासी जमाल अंसारी को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस को दिए आवेदन में शहर के थाना रोड़ निवासी लोहरदगा के वरीय अधिवक्ता कृपा शंकर पांडे ने स्पष्ट किया है कि विगत तीन-चार महीनों से विभिन्न माध्यमों से भया दोहन करने की नियत से जमाल अंसारी उन्हें जानमाल की धमकी दिया करता था। वह कहता था कि वह पीएलएफआइ का सक्रिय सदस्य है और संगठन को हथियार और गोली खरीदने तथा उसकी आपूर्ति करने की जिम्मेदारी उसे मिली है। पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के लिए चंदा उगाही का काम वह करता है। लोहरदगा शहर से 10 लाख रुपए प्रत्येक माह वसूल करता है। उसने पीएलएफआइ उग्रवादी संगठन के लिए अधिवक्ता से पैसे की मांग की थी। जमाल अंसारी ने विभिन्न व्यक्तियों के माध्यम के अलावा खुद भी अधिवक्ता से 51 हजार रुपए की मांग की थी। वह बार-बार धमकी देता था। वह कहता था कि मांग के मुताबिक पैसा नहीं दिया जाएगा तो कभी भी कुछ भी हो सकता है। अधिवक्ता का कहना है कि जमाल अंसारी अपराधी प्रवृति का व्यक्ति है और उसका संबंध उग्रवादी संगठन के साथ है। ऐसे में वे भयभीत हो गए थे। अधिवक्ता ने अपने और अपने परिवार की जान माल की रक्षा के लिए जमाल अंसारी को 15 हजार रुपये से भी अधिक दिया था। बावजूद जमाल अंसारी और उसके सहयोगियों का दबाव लगातार बढ़ता जा रहा था। थक हार कर थाने में आवेदन देते हुए प्राथमिकी दर्ज कराई थी। इस मामले को गंभीरता से लेते हुए एसपी प्रियंका मीना ने सदर थाना प्रभारी केश्वर साहू को त्वरित कार्रवाई का निर्देश दिया। सदर थाना पुलिस ने कार्रवाई करते हुए शहर के कचहरी मोड़ चर्च गेट के पास से सदर थाना के पुलिस अवर निरीक्षक शशि शेखर कुमार ने आरोपित जमाल अंसारी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।

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