ट्यूशन से अधिक स्कूल की पढ़ाई अहम

58 फीसद छात्रों का मानना है कि स्कूल की पढ़ाई के अलावा ट्यूशन जरूरी है।

By JagranEdited By: Publish:Wed, 05 Sep 2018 01:21 PM (IST) Updated:Wed, 05 Sep 2018 01:21 PM (IST)
ट्यूशन से अधिक स्कूल की पढ़ाई अहम
ट्यूशन से अधिक स्कूल की पढ़ाई अहम

धनबाद, आशीष सिंह। महर्षि अरविंद ने शिक्षकों के संबंध में कहा है कि शिक्षक राष्ट्र की संस्कृति के चतुर माली होते हैं। वे संस्कारों की जड़ों में खाद देते हैं और अपने श्रम से सींचकर उन्हें शक्ति में परिवर्तित करते हैं। किसी राष्ट्र के वास्तविक निर्माता उस देश के शिक्षक होते हैं। इस बात को धनबाद के शिक्षकों ने चरितार्थ किया है। निसंदेह शिक्षक स्कूलों में ऐसी शिक्षा दे रहे हैं कि छात्र स्कूल में दी जाने वाली शिक्षा को ट्यूशन से कहीं बेहतर मानते हैं। यहां के 58 फीसद छात्रों का मानना है कि स्कूल की पढ़ाई के अलावा ट्यूशन जरूरी नहीं है। 40.5 फीसद छात्र मानते हैं कि स्कूल की पढ़ाई के अलावा टयूशन जरूरी है।

दरअसल शिक्षक दिवस से एक दिन पूर्व मंगलवार को दैनिक जागरण की ओर से जिले के प्रतिष्ठित स्कूलों में 700 छात्रों के बीच आयोजित सैम्पल सर्वे में यह बात निकलकर सामने आई है। छात्रों से उनके पसंदीदा शिक्षक, शिक्षकों से अपेक्षाएं, गूगल गुरु छात्रों के लिए कितना अहम और स्कूल की पढ़ाई के अलावा ट्यूशन कितना जरूरी है, इसके बारे में जानने का प्रयास किया गया। छात्रों ने सर्वे के दौरान जमकर वोटिंग की। हर सवाल का माकूल जवाब दिया। सर्वे के दौरान चौंकाने वाले तथ्य निकलकर सामने आए। मसलन 59 फीसद छात्र अपनी पढ़ाई के लिए गूगल गुरु की मदद लेना जरूरी समझते हैं। 40 फीसद छात्र गूगल की मदद नहीं लेना चाहते। सर्वे में अधिकतर छात्र अपने आदर्श शिक्षक में अपनत्व, सभी छात्रों में समानता का भाव, कर्मठ, छात्रों की कमजोरी को समझकर सुधारने की नीयत देखना चाहते हैं। दैनिक जागरण की टीम ने डीएवी पब्लिक स्कूल कोयला नगर, राजकमल सरस्वती विद्या मंदिर अशोक नगर, सेंट जेवियर्स इंटरनेशनल स्कूल, गुरु गोबिंद सिंह पब्लिक स्कूल और माउंट लिट्रा जी स्कूल में 700 छात्रों के बीच सैम्पल सर्वे किया। वोटिंग के आधार पर छात्रों के फेवरेट शिक्षकों का भी चयन किया गया।

chat bot
आपका साथी