मस्जिद-ईदगाह जाने की परंपरा की दी कुर्बानी

बेरमो कोरोना से बचाव के लिए सरकारी गाइडलाइन का पालन करते हुए पूरे बेरमो कोयलांचल के

By JagranEdited By: Publish:Sat, 01 Aug 2020 10:17 PM (IST) Updated:Sat, 01 Aug 2020 10:17 PM (IST)
मस्जिद-ईदगाह जाने की परंपरा की दी कुर्बानी
मस्जिद-ईदगाह जाने की परंपरा की दी कुर्बानी

बेरमो : कोरोना से बचाव के लिए सरकारी गाइडलाइन का पालन करते हुए पूरे बेरमो कोयलांचल के मुसलमानों ने शनिवार को मस्जिद-ईदगाह जाने की परंपरा की कुर्बानी देकर घर में ही नमाज अदा कर बकरीद मनाई। बच्चों ने भी ईदी मांगने की जिद न कर मुहल्ले में ही दोस्तों के संग बकरीद की खुशी बांटी। मस्जिदों में केवल इमाम, मुअज्जिन, मुतवल्ली व अंजुमन के सदर व सेक्रेटरी ने ही बकरीद की नमाज पढ़ी। साथ ही नमाज व खुत्बे के बाद कोरोना का कहर देश व दुनिया से खत्म करने की दुआ मांगी। रहीमगंज फुसरो जामा मस्जिद के इमाम मौलाना इरफान नदवी ने बताया कि पैगंबर हजरत इब्राहीम अलैहिस्सलाम एवं उनके बेटे हजरत इस्माइल अलैहिस्सलाम की अल्लाह की राह में कुर्बानी के जज्बे की याद में मनाया जाने वाला बकरीद एक ऐसा त्योहार है, जो त्याग व समर्पण का संदेश देता है।

यहां के फुसरो, करगली, भेड़मुक्का, रजानगर, रहीमगंज, घुटियाटांड़, सुभाषनगर, गांधीनगर, कुरपनिया, संडेबाजार, जरीडीह बाजार, बरवाबेड़ा, चलकरी, कथारा, खेतको, अंगवाली, पिछरी, अलारगो, नावाडीह, सुरही, तेलो, जारंगडीह, असनापानी, कथारा, झिरकी, बोकारो थर्मल, ऊपरघाट, स्वांग, गोमिया, साड़म, होसिर आदि के मुसलमानों ने ईद-उल-अजहा सादगी के साथ मनाई। सभी ने कोरोना वायरस के खात्मे के लिए दुआ मांगी। बच्चों ने अपने घर के अन्य बच्चों से गले मिलकर ईद मुबारक कहते हुए त्यौहार की बधाई दी।

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