सुंदरबनी, मंजाकोट में नहीं है फायर स्टेशन, आग लगने पर राजौरी से आती है दमकल गाड़ी

जागरण संवाददाता राजौरी जिले में कुछ ऐसी तहसीलें हैं जहां फायर स्टेशन की सुविधा नहीं

By JagranEdited By: Publish:Thu, 25 Feb 2021 07:41 PM (IST) Updated:Thu, 25 Feb 2021 07:41 PM (IST)
सुंदरबनी, मंजाकोट में नहीं है फायर स्टेशन, आग लगने पर राजौरी से आती है दमकल गाड़ी
सुंदरबनी, मंजाकोट में नहीं है फायर स्टेशन, आग लगने पर राजौरी से आती है दमकल गाड़ी

जागरण संवाददाता, राजौरी : जिले में कुछ ऐसी तहसीलें हैं, जहां फायर स्टेशन की सुविधा नहीं है। इन क्षेत्रों में कहीं आग लगने की सूचना मिलती है तो राजौरी से दमकल की गाड़ियां भेजी जाती है। विडंबना यह है कि जब तक वाहन मौके पर पहुंचता है, तब तक आग से काफी नुकसान हो चुका होता है।

स्थानीय लोग अपने क्षेत्रों में फायर स्टेशन खोलने के लिए कई बार मांग कर चुके हैं, लेकिन इस पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है।

जिले की कोटरंका, दरहाल, सुंदरबनी व मंजाकोट तहसील में फायर स्टेशन नहीं है। इन तहसीलों में कहीं पर भी आग की घटना होती है, तो राजौरी से साठ से अस्सी किलोमीटर की दूरी तक दमकल वाहन जाता है।

सुंदरबनी में फायर स्टेशन खोलने के लिए जिला विकास बोर्ड की बैठक में मंजूरी भी मिली थी, लेकिन आज तक इस पर काम शुरू नहीं हुआ। राजौरी से कोटरंका बुद्धल में दमकल के वाहन को पहुंचने से ढाई से तीन घंटे लग जाता है। इतना ही समय दरहाल, बीजी व मंजाकोट पहुंचने में भी लग जाता है। दमकल विभाग के राजौरी प्रभारी मकबूल अहमद का कहना है कि हमने इन क्षेत्रों में फायर स्टेशन खोलने के लिए कई बार उच्च अधिकारियों व सरकार को लिखा है, लेकिन अभी तक इस ओर ध्यान नहीं दिया गया है। इन क्षेत्रों में फायर स्टेशन का होना काफी जरूरी है ताकि समय पर आग पर काबू पाने के साथ साथ जान माल के नुकसान को भी रोका जा सके। लोगों का कहना है कि गर्मी के दिनों में आग लगने पर काफी खतरा रहता है। लोग हमेशा डरे रहते हैं।

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