जम्मू : आय से अधिक संपत्ति मामले में तहसीलदार को मिली सजा पर रोक

उन पर आरोप था कि वह पटवारी के पद पर वर्ष 1966 में राजस्व विभाग में कार्यरत हुए थे और अपने पूरे कार्यकाल के दौरान आय से अधिक संपत्ति अर्जित की। उन्होंने अपने रिश्तेदारों के नाम पर भी संपत्ति खरीदी।

By Edited By: Publish:Tue, 11 Jan 2022 07:55 AM (IST) Updated:Tue, 11 Jan 2022 08:01 AM (IST)
जम्मू : आय से अधिक संपत्ति मामले में तहसीलदार को मिली सजा पर रोक
संपत्ति बनाने के आरोप में तहसीलदार के खिलाफ मामला दर्ज किया था।

जेएनएफ, जम्मू: वोकेशन जज जम्मू जस्टिस पुनीत गुप्ता ने रिकवरी तहसीलदार जनक सिंह को मिली सजा पर रोक लगा दी है। कोर्ट ने तहसीलदार को पचास हजार रुपये के निजी मुचलके पर जमानत दे दी है। तत्कालीन रिकवरी तहसीलदार जनक सिंह को स्पेशल जज एंटी करप्शन ने 13 वर्ष तक चले मामले में आय से अधिक संपत्ति मामले में तीन वर्ष की कैद व दो लाख रुपये जुर्माने की सजा सुनाई थी।

उन पर आरोप था कि वह पटवारी के पद पर वर्ष 1966 में राजस्व विभाग में कार्यरत हुए थे और अपने पूरे कार्यकाल के दौरान आय से अधिक संपत्ति अर्जित की। उन्होंने अपने रिश्तेदारों के नाम पर भी संपत्ति खरीदी। इसके अलावा तहसीलदार ने शास्त्री नगर जम्मू में दो कनाल जमीन पर आलीशन घर, ग्रेटर कैलाश में शंकर फिलिंग स्टेशन नाम से पेट्रोल पंप भी बनवाया। सतर्कता संगठन जो मौजूदा समय एंटी करप्शन ब्यूरो बन चुका है, ने आय से अधिक संपत्ति बनाने के आरोप में तहसीलदार के खिलाफ मामला दर्ज किया था।

बिजली के तार चोरी मामले में अग्रिम जमानत से इंकार : अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश कठुआ कमलेश पंडित ने बिजली विभाग का 11 क्विंटल तार चोरी करने मामले में जीवन कुमार को अग्रिम जमानत देने से इंकार कर दिया है। कोर्ट ने विजय कुमार की ओर से दायर जमानत अर्जी को खारिज करते हुए कहा कि उस पर लगे आरोप गंभीर हैं। इस मामले की जांच अभी जारी है। ऐसे में यदि उसे अग्रिम जमानत दे दी जाती है, तो उससे जांच भी प्रभावित हो सकती है। इससे आरोपित के बार-बार ऐसे आरोपों में शामिल होने की आशंका प्रबल होगी। कोर्ट कुछ विशेष मामलों में ही अग्रिम जमानत दे सकता है और वह भी उसे जो कानून का सम्मान करता हो।

chat bot
आपका साथी