Jammu Kashmir: उत्तरी कश्मीर के टंगधार में सेना के मेजर ने खुद को गोली मारी

उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिला के टंगधार के टिटवाल में तैनात जैक राइफल में तैनात मेजर फैयाज उल्लाह खान ने खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली है। तमाम अन्य औपचारकिताएं पूरी करने के उपरांत इस मामले की जांच पड़ताल की जाएगी।

By Vikas AbrolEdited By: Publish:Mon, 18 Jan 2021 01:45 PM (IST) Updated:Mon, 18 Jan 2021 06:17 PM (IST)
Jammu Kashmir: उत्तरी कश्मीर के टंगधार में सेना के मेजर ने खुद को गोली मारी
उत्तरी कश्मीरी के टंगधार क्षेत्र में तैनात सेना के एक मेजर ने खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली है।

जम्मू, जेएनएन। उत्तरी कश्मीरी के टंगधार क्षेत्र में तैनात सेना के एक मेजर ने खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली है। जानकारी के अनुसार, उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिला के टंगधार के टिटवाल में तैनात जैक राइफल में तैनात मेजर फैयाज उल्लाह खान ने खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली है। इस घटना के तुरंत बाद सेना के मेजर के शव को सैन्य अस्पताल ले जाया गया जहां तमाम अन्य औपचारकिताएं पूरी करने के उपरांत इस मामले की जांच पड़ताल की जाएगी। फिलहाल अन्य विवरण प्रतीक्षारत हैं।

यहां यह बता दें कि गत 12 मई 2020 को सीआरपीएफ के एक सब इंस्पेक्टर ने दक्षिणी कश्मीर के अनंतनाग जिला के अकरुन मट्टन क्षेत्र में अपनी सर्विस राइफल से खुद को गोली मारकर खुदकुशी कर ली थी। सब इंस्पेक्टर ने खुदकुशी से पहले लिखा था कि 'मुझे डर है कि मैं कोरोना पॉजिटिव हूं, अच्छा यहीं है कि मैं मर जाऊं'।

इसी तरह श्रीनगर के करण नगर स्थित नीलम सिनेमा के बाहर तैनात सीआरपीएफ के एक असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर ने भी स्वयं को गोली मारकर खुदकुशी कर ली थी। एक अन्य घटनाक्रम में गत 9 नवंबर 2020 को सेना के थन्नामंडी स्थित डेरा की गली में स्थित सैन्य कैंप में तैनात सेना की रोमियो फोर्स के एक मेजर रैंक के अधिकारी की भी रहस्यमयी परिस्थितियों में मौत हो गई थी।

इंस्टीट्यूट ऑफ मेंटल हेल्थ एंड न्यूरो साइंसिस, श्रीनगर में तैनात मनोचिकित्सक एसोसिएट प्रोफेसर डॉ. यासिर हसन राथर का कहना है कि अपने घरों से दूर रहकर सख्त ड्यूटी देने के दौरान अक्सर सुरक्षाबलों के जवान मानसिक अवसाद का शिकार हो जाते हैं। उन्होंने बताया कि गत वर्ष सुरक्षाबलों  के हर महीने चार के करीब ऐसे मामले उनके संज्ञान में आते थे। लेकिन अब इसमें काफी कमी आई है। चूंकि अब सुरक्षाबलों को तैनाती के दौरान योग व अन्य क्रियाओं से तनाव मुक्त रहने के लिए प्रेरित किया जाता है जो जवानों और अधिकारियों के लिए काफी मददगार साबित हो रहे हैं।  

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