गर्भवती महिलाओं को नहीं मिल रही अल्ट्रासाउंड की सुविधा

खनेरी अस्पताल में दो वर्ष से रेडियोलॉजिस्ट होने के बावजूद गर्भव

By JagranEdited By: Publish:Tue, 19 Jan 2021 04:23 AM (IST) Updated:Tue, 19 Jan 2021 04:23 AM (IST)
गर्भवती महिलाओं को नहीं मिल रही अल्ट्रासाउंड की सुविधा
गर्भवती महिलाओं को नहीं मिल रही अल्ट्रासाउंड की सुविधा

संजय भागड़ा, रामपुर बुशहर

खनेरी अस्पताल में दो वर्ष से रेडियोलॉजिस्ट होने के बावजूद गर्भवती महिलाओं को अल्ट्रासाउंड के लिए निजी अस्पताल जाना पड़ रहा है। अस्पताल में काफी जद्दोजहद के बाद रेडियोलॉजिस्ट का पद दो साल पहले भर गया था लेकिन फिर भी लोगों की परेशानियां कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। गर्भवती महिलाओं को आज भी निजी क्लीनिकों में अल्ट्रासाउंड के लिए जाना पड़ता है।

दिसंबर में अस्पताल में किसी भी मरीज के अल्ट्रासाउंड नहीं किए गए, क्योंकि पहले रेडियोलॉजिस्ट को कोविड होने के कारण दिक्कतें हुई और बाद में रेडियोलॉजिस्ट की तैनाती कोविड वार्ड में लगा दी गई। 12 जनवरी से अस्पताल में अन्य अल्ट्रासाउंड शुरू किए गए हैं लेकिन जब से चिकित्सक की तैनाती अस्पताल में हुई है तब से अस्पताल प्रशासन ने गर्भवती महिलाओं के अल्ट्रासाउंड के लिए पीएनडीटी एक्ट के तहत अनुमति नहीं ली है।

निजी क्लीनिकों में देनी पड़ रही अधिक फीस

दूरदराज क्षेत्रों से आने वाली गर्भवती महिलाएं मुश्किल से अस्पताल पहुंचती हैं। जब उन्हें डाक्टर अल्ट्रासाउंड करवाने के लिए कहता है तो अस्पताल में यह सुविधा नहीं मिलती है। महिलाओं को मजबूरन निजी क्लीनिकों में अधिक फीस देकर अल्ट्रासाउंड करवाने पड़ते हैं।

गर्भवती महिलाएं अव्यवस्था से परेशान

खनेरी अस्पताल में रोजाना गर्भवती महिलाओं को आसपास के क्षेत्रों से पहुंचाकर भर्ती करवाया जाता है। रोजाना अस्पताल में तीन या चार महिलाओं को दिक्कत झेलनी पड़ती है। अस्पताल में शिमला के अलावा आसपास के चार सीमावर्ती जिलों के मरीजों को सुविधा मिलती है। अस्पताल में कोई न कोई अव्यवस्था होने के कारण लोगों की परेशानियां कम नहीं हो रही हैं।

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अस्पताल की ओर से दो माह पहले पीएनडीटी एक्ट के तहत अनुमति के लिए आवेदन किया गया था। इसके बाद मैं अवकाश पर चला गया था। सोमवार को कार्यालय से इस बारे में पता किया जाएगा कि अनुमति मिल गई है या नहीं।

-डा. नरेंद्र मेहता, अस्पताल प्रभारी

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