जेल मे खेत से फेंके गए आठ मोबाइल

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : खेत में खड़े होकर एक व्यक्ति ने जिला जेल के अंदर प्लास्टिक का प

By Edited By: Publish:Sun, 04 Dec 2016 12:46 AM (IST) Updated:Sun, 04 Dec 2016 12:46 AM (IST)
जेल मे खेत से फेंके गए आठ मोबाइल

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : खेत में खड़े होकर एक व्यक्ति ने जिला जेल के अंदर प्लास्टिक का पैकेट फेंक दिया। जेल पुलिस ने मौके पर पहुंच कर पैकेट को कब्जे में ले लिया। पैकेट को खोल कर देखा गया तो सभी की आंखें फटी की फटी रह गई, क्योंकि पैकेट में एक या दो नहीं पूरे आठ मोबाइल थे। वहां मौजूद एक कैदी की तलाशी लेने पर उसके पास से भी एक मोबाइल मिला। पुलिस ने इस घटना की शिकायत थाना शहर जगाधरी पुलिस को दी। पुलिस ने आरोपी कैदी के खिलाफ केस दर्ज कर लिया।

शुक्रवार शाम की है घटना

जेल अधिकारी रेशम ¨सह ने शहर जगाधरी पुलिस को बताया कि शुक्रवार देर शाम करीब साढ़े छह बजे जिला जेल की बुर्ज तीन और चार के बीच में एक व्यक्ति ने बाहर से एक पैकेट दीवार के ऊपर से जेल के अंदर फेंका। बुर्ज तीन पर तैनात संतरी सुशील कुमार ने पैकेट को अंदर फेंकते हुए देख लिया। सुशील कुमार ने तुरंत सहायक अधीक्षक अश्वनी कुमार को आवाज लगाई। सूचना पाते ही अश्वनी कुमार तुरंत जेल की दीवार के पास पहुंचे। उन्होंने पैकेट को उठा लिया। यह पैकेट प्लास्टिक का था। उसने पैकेट को खोल कर देखा तो वे हैरान रह गए। पैकेट फेंकने की सूचना पाते ही वहां अन्य पुलिसकर्मी भी पहुंच गए। उन्होंने पैकेट खोल कर देखा तो उसमें से आठ मोबाइल निकले। उनमें सात मोबाइल सैमसंग कंपनी और एक मोबाइल माइक्रोमैक्स कंपनी का था। इसके अलावा चार चार्जर भी थे। जेल पुलिस ने इसकी सूचना तुरंत जेल अधिकारी रेशम ¨सह को दी।

कैदी से भी मिला मोबाइल

जिस जगह जेल के अंदर दीवार के बाहर से मोबाइल का पैकेट फेंका गया था उसके पास एक कैदी विशु उर्फ वरूण खड़ा था। पुलिस ने विशु को पकड़ लिया। तलाशी लेने पर उसके पास से भी एक माइक्रोमैक्स का मोबाइल और सिम कार्ड हुई।

जगाधरी थाने में केस दर्ज

जेल अधिकारी रेशम ¨सह ने जेल से मोबाइल मिलने की शिकायत थाना शहर जगाधरी पुलिस को दी। पुलिस ने कार्रवाई करते हुए विशु के खिलाफ केस दर्ज कर लिया। एसएचओ सुनील कुमार का कहना है कि इस मामले में विशु के खिलाफ केस दर्ज कर लिया है। जल्द ही बाहर से मोबाइल फेंकने वाले भी पकड़े जाएंगे।

बृहस्पतिवार को भी मिला था मोबाइल

1 दिसंबर को भी जेल में एक कैदी से मोबाइल, सिम और बैटरी बरामद हुई थी। पुलिस ने जब जेल की तलाशी ली थी, तो जिला पलवल के औरंगाबाद गांव निवासी अमृत ¨सह के पास से एक मोबाइल, सिम कार्ड व बैटरी बरामद हुई थी। तब जेल अधिकारी रेशम ¨सह ने उसके खिलाफ केस दर्ज कराया था। इसी तरह इस साल अब तक दर्जनों मोबाइल जेल के अंदर बंद कैदियों से मिल गए हैं। जेल के अंदर से कैदी मोबाइल से बाहर किन-किन वारदातों को अंजाम दिलवा रहे हैं, इसका खुलासा आज तक नहीं हुआ।

सुरक्षित नहीं जेल का उत्तरी हिस्सा

जिला जेल जगाधरी का उत्तरी हिस्सा सुरक्षा के लिहाज से सही नहीं है। क्योंकि जेल के उत्तरी हिस्से में खाली खेत हैं। हालांकि इस तरह जेल की दीवार ऊंची है, जिसके अंदर से बाहर नहीं भागा जा सकता, परंतु जेल में बंद कैदियों को यहीं से मोबाइल अंदर सप्लाई किए जाते हैं। सूत्रों की माने तो बंद कैदियों से मिलने के लिए जब उनके परिचित या रिश्तेदार आते हैं तभी मोबाइल अंदर फेंके जाने की प्ला¨नग बनाई जाती है। इसी मुलाकात के दौरान ही जेल में बाहर से मोबाइल फेंके जाने का समय तय किया जाता है। यही वजह है कि जब बाहर से कोई मोबाइल फेंका जाता है तो कैदी दीवार के आसपास ही होते हैं। मौका पाकर वे मोबाइल उठा लेते हैं।

जेल में जैमर भी नहीं है

जिला जेल के अंदर जैमर भी नहीं लगे हैं। उससे जेल के अंदर इस्तेमाल हो रहे मोबाइल नेटवर्क को जाम किया जा सके। काफी समय से जेल में जैमर लगाए जाने की बात कही जा रही है परंतु अब तक ऐसा नहीं हुआ। इसका फायदा जेल के अंदर बंद कैदी उठा रहे हैं। अब तक दर्जनों कैदियों से मोबाइल मिल चुके हैं। फिर भी जेल में जैमर लगाने को गंभीरता से नहीं लिया गया।

केस दर्ज करा दिया है : रतन ¨सह

जिला जेल अधीक्षक रतन ¨सह का कहना है कि जेल से जो मोबाइल मिले हैं उसका मुकदमा दर्ज करवा दिया है। जेल की एक दीवार खेतों की तरफ है जहां से मोबाइल अंदर फेंके गए हैं। पहले भी ऐसा हो चुका है। यही वजह है इस तरफ सुरक्षा ज्यादा रखी गई है। जेल में जैमर लगाने का फैसला मुख्यालय से ही होना है।

जागरण उठा चुका है मामला

जिला जेल से बार-बार मोबाइल मिलने की वारदातों व खामियों का खुलासा दैनिक जागरण पहले ही कर चुका है। पटियाला की नाभा जेल से आतंकियों के भागने के बाद 28 नवंबर को दैनिक जागरण ने'जिला जेल की सुरक्षा बढ़ाई, कैदियों की ली गई तलाशी' शीर्षक के साथ समाचार प्रकाशित किया था। इस समाचार में हम पहले ही बता चुके थे की जेल के अंदर खेतों की तरफ से मोबाइल फेंके जाते हैं। जबकि जेल में जैमर नहीं होने का मामला भी उठाया था।

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