केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने दी कैप्टन को नसीहत, कहा- संविधान के दायरे में रहकर दें सुझाव

सतलुज यमुना लिंक नहर के मुद्दे पर केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने पंजाब के सीएम कैप्टन अमरिंदर सिंह पर तंज कसा। कहा कैप्टन को संविधान के दायरे में रहकर ही अपने सुझाव देने चाहिए।

By Kamlesh BhattEdited By: Publish:Sun, 22 Jul 2018 12:10 PM (IST) Updated:Sun, 22 Jul 2018 09:02 PM (IST)
केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने दी कैप्टन को नसीहत, कहा- संविधान के दायरे में रहकर दें सुझाव
केंद्रीय मंत्री बीरेंद्र सिंह ने दी कैप्टन को नसीहत, कहा- संविधान के दायरे में रहकर दें सुझाव

जेएनएन, रोहतक। केंद्रीय इस्पात मंत्री चौ. बीरेंद्र सिंह ने कहा है कि पंजाब के मुख्यमंत्री  कैप्टन अमरिंदर सिंह को संविधान के दायरे में रहकर ही अपने सुझाव देने चाहिए। अमरिंदर सिंह पहले भी पंजाब के मुख्यमंत्री रह चुके हैं और उन्होंने विधानसभा में प्रस्ताव पास कर 2004 में पड़ोसी राज्यों के साथ नहरों का पानी बांटने का समझौता तोड़ दिया था। बीरेंद्र सिंह दीनबंधु सर छोटूराम स्मारक सांपला में आयोजित छोटूराम विचार मंच की बैठक के बाद पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि सर्वोच्च न्यायालय में जस्टिस एआर दवे की अध्यक्षता वाली पांच जजों की बैंच ने मामले पर सुनवाई करते हुए पंजाब टर्मिनेशन ऑफ एग्रीमेंट एक्ट 2004 असंवैधानिक बताया था और कहा था कि पंजाब को ऐसा एकतरफा निर्णय लेकर पड़ोसी राज्यों से नहरों के पानी के बंटवारे को रोकने का कोई अधिकार नहीं है। बता दें, कैप्टन अमरिंदर सिंह ने एसवाइएल निर्माण का विरोध किया था। उनका कहना है कि वे किसी भी हाल में इसका निर्माण होने नहीं देंगे।

केंद्रीय मंत्री ने कहा कि पंजाब ने उस दौरान संवैधानिक मान्यताओं को ताक पर रखकर कानून बनाया था। मुख्यमंत्री को ऐसी कोई बात नहीं करनी चाहिए जिससे कि संविधान की संवेदनशीलता पर आंच आती हो। दुष्कर्म की घटनाओं के संबंध में पूछे गए एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि दुष्कर्मियों को सजा देने के लिए कठोर कानून बनाया गया है।

हुड्डा व तंवर की कांग्रेस में स्थिति का सबको पता है

कांग्रेस की जनक्रांति व साइकिल यात्रा के बारे में बीरेंद्र सिंह ने कहा कि वे लंबे समय तक कांग्रेस में रहे हैं। कांग्रेस की आंतरिक राजनीति को अच्छी तरह से समझते है। हाल ही में कांग्रेस वर्किंग कमेटी के गठन से यह आसानी से अंदाज लगाया जा सकता है कि हुड्डा व तंवर में से किसकी क्या स्थिति है।

एक अन्य सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि संसद में राहुल गांधी ने जो कुछ किया उससे उनका उतावलापन झलकता है। कांग्रेस के मुखिया के आचरण व शैली में गंभीरता व शालीनता होनी चाहिए। लगता है राहुल गांधी शालीनता की सीमाएं लांघ गए थे। शायद राहुल गांधी अपने भाषण को अच्छा समझकर प्रधानमंत्री के पास पीठ थपथपवाने के उद्देश्य से गए थे। यह एक ऐसा क्षण था, जिसकी व्याख्या किसी भी दृष्टि से की जा सकती है।

पीएम मोदी से कराएंगे दीनबंधु की प्रतिमा का अनावरण

दीनबंधु सर छोटूराम की सांपला स्मारक में लगी प्रतिमा के अनावरण के बारे में उन्होंने कहा कि 15 अगस्त तक केएमपी का काम पूरा हो जाएगा और जब प्रधानमंत्री इस परियोजना का उद्घाटन करेंगे तो उसी दिन प्रतिमा का अनावरण भी कराया जाएगा।

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