शहर में बंद रहा बेअसर, सड़कों पर किसानों का कब्जा
अखिल भारतीय किसान संघर्ष समिति के आह्वान पर भारत बंद शहर में बेअसर रहा। लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में किसानों ने हाईवे स्टेट हाईवे व अन्य मार्गो को जाम कर दिया।
जागरण संवाददाता, रोहतक : अखिल भारतीय किसान संघर्ष समिति के आह्वान पर भारत बंद शहर में बेअसर रहा। लेकिन ग्रामीण क्षेत्रों में किसानों ने हाईवे, स्टेट हाईवे व अन्य मार्गो को जाम कर दिया। किसानों ने जिले में अलग-अलग करीब एक दर्जन से अधिक स्थानों पर सड़कों को अवरुद्ध किया, जिसके कारण यातायात प्रभावित हुआ और राहगीरों को परेशानी भी उठानी पड़ी।
किसानों की मांगों को लेकर मंगलवार को भारत बंद आह्वान था, लेकिन शहर में बंद का कोई असर नजर नहीं आया। सभी बाजार, मार्केट व अन्य प्रतिष्ठान खुले रहे। प्रतिष्ठान खोलने में व्यापारियों ने भारत बंद के माहौल को देखने के लिए कुछ देरी से शटर ऊपर किए। लेकिन बाजारों में ग्राहकों की संख्या दोपहर तक न के बराबर रही। शाम के वक्त बाजारों में भीड़ भी जुटना शुरू हो गई थी। सब्जी मंडी भी पूरी तरह से खुली हुई थी। एक तरह शहर में भारत बंद पूरी तरह से विफल रहा, वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में किसानों का सड़कों पर कब्जा रहा। जिला का कोई ऐसी मार्ग नहीं था, जहां किसानों ने जाम न लगाया हो। सोनीपत दिल्ली हाईवे पर खरावड़ व ईस्माइला में किसानों ने जाम लगाया। रोहतक- हिसार हाईवे पर बहुअकबरपुर, मदीना, भैणी महाराजपुर, भिवानी रोड पर कालेज मोड़, झज्जरर रोड पर करौंथा व मायना, जींद रोड पर टिटौली व लाखनमाजरा, रोहतक-पानीपत मार्ग पर ब्राह्मणवास व जसिया के बीच, सोनीपत मार्ग पर बोहर व भालौठ फ्लाईओवर तथा बेरी मार्ग पर बालंद के समीप किसानों ने रोड जाम किया। जाम से काफी संख्या में वाहन फंस गए, जिसके कारण राहगीरों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। रोहतक निवासी यशपाल ने बताया कि वे जरूरी काम से रोडवेज बस से भिवानी जा रहे थे। लेकिन कलानौर के समीप जाम में बस फंस गई, जिसके कारण उनको काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ा। विपक्षी राजनीति दलों व संगठनों ने किया प्रदर्शन
भारत बंद का विपक्षी राजनीति दलों ने समर्थन करते हुए विरोध प्रदर्शन किए। कांग्रेस ने विधायक भारत भूषण बतरा के नेतृत्व में कांग्रेस भवन में एकत्रित होकर केंद्र व राज्य सरकार के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन किया। कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पुतला भी जलाया। इसी मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी, बहुजन समाज पार्टी, एसयूसीआइ के अलावा दो जाम पांच जन आंदोलन मुद्दे, भवन निर्माण कामगार यूनियन, मिड डे मील वर्कर्स यूनियन, रिटायर्ड कर्मचारी संघ, इंटक, अलावा आल इंडिया लायर्स यूनियन, एसएफआइ, नौजवान सभा (डीवाइएफआइ), विकलांग अधिकार मंच, दलित अधिकार मंच ने भी किसान आंदोलन व भारत बंद के समर्थन में शहर में प्रदर्शन किया। व्यापारी संगठनों ने किया था समर्थन, नहीं की दुकानें बंद
शहर में कई व्यापारी संगठनों ने भी भारत बंद का समर्थन किया था। लेकिन शहर में बाजार व दुकानें बंद नहीं करा सके। खास बात यह रही है कि जिन व्यापारी नेताओं ने समर्थन किया था, उनकी खुद ही दुकानें भी एक बार शटर बंद करने के बाद तुरंत खुल गई थी। हालांकि सांकेतिक रूप से उन्होंने प्रदर्शन जरूर किए। इसी तरह सब्जी मंडी खुली रहीं। लेकिन एक दिन पहले बंद का समर्थन किया था।