पानीपत के लोगों ने जमा किया बीस करोड़ रुपये प्रॉपर्टी टैक्स

बीते छह माह में शहरवासियों ने निगम की झोली भर दी। इस दौरान प्रॉपर्टी टैक्स के रूप में 20.87 करोड़ जमा करवाकर पानीपत को टैक्स रिकवरी में राज्य में पहला स्थान दिलवा दिया।

By JagranEdited By: Publish:Sun, 14 Mar 2021 06:05 AM (IST) Updated:Sun, 14 Mar 2021 06:05 AM (IST)
पानीपत के लोगों ने जमा किया बीस करोड़ रुपये प्रॉपर्टी टैक्स
पानीपत के लोगों ने जमा किया बीस करोड़ रुपये प्रॉपर्टी टैक्स

महावीर गोयल, पानीपत

लॉकडाउन से पहले पानीपत नगर निगम प्रॉपर्टी टैक्स की वसूली में प्रदेश में सबसे निचले पायदान पर था। स्थिति सुधारने के लिए निगम अधिकारियों ने लोगों को टैक्स जमा करने के लिए जागरूक किया। इसका नतीजा यह हुआ कि बीते छह माह में शहरवासियों ने निगम की झोली भर दी। इस दौरान प्रॉपर्टी टैक्स के रूप में 20.87 करोड़ जमा करवाकर पानीपत को टैक्स रिकवरी में राज्य में पहला स्थान दिलवा दिया। नगर निगम की कुल डिमांड 22 करोड़ 43 लाख 62 हजार 38 रुपये है। जिसमें 20 करोड़ 87 लाख 46 हजार 896 रुपये जमा हो चुके हैं। निगम अफसरों को उम्मीद है कि 31 मार्च से पहले उनका लक्ष्य पूरा हो जाएगा।

आज भी जमा होगा टैक्स

प्रॉपर्टी टैक्स जमा करवाने के लिए शनिवार को भी निगम कार्यालय में काउंटर खोला गया। इस दौरान 2.83 लाख रुपये की रिकवरी हुई। रविवार को भी निगम का कार्यालय खुलेगा।

इस वर्ष अब तक जमा टैक्स

जनवरी 2021 : 1.84 करोड़ रुपये

फरवरी : 1.07 करोड़

मार्च में अब तक : 1. 04 करोड़ रुपये जमा हो चुके हैं। इधर बिल ठीक करवाने वाले काट रहे चक्कर

बंपर टैक्स जमा करवाने के बावजूद नगर निगम अधिकारी लोगों की परेशानी दूर करने पर ध्यान नहीं दे रहे हैं। प्रॉपर्टी टैक्स के बिल ठीक करवाने के लिए शहरवासी धक्के खा रहे हैं। सबसे अधिक परेशानी बुजुर्गो और महिलाओं को उठानी पड़ रही है।

बिल ठीक करवाने आए बुजुर्ग केबी शर्मा ने बताया कि 2003-04 में उसको 1322 रुपये का नोटिस मिला। वह उसे वह भर चुके हैं। 2015 तक उसके पास बिल नहीं आया। निगम में जाकर बिल निकलवाया। 1418 रुपये का बिल था, जिसे उन्होंने जमा करा दिया। 27 दिसंबर 2019 को 10822 का बिल भेजा गया। 9934 रुपये एरियर दिखाया गया। इसे भी भर दिया। अब उन्हें 21053 रुपये का बिल थमा दिया गया है। नए बिल में 20816 रुपये एरियर निकाला गया। रसीद दिखाने के बाद बिल ठीक करवाने के लिए चक्कर लगा रहा हूं। निगम के नोटिफिकेशन के मुताबिक 2010-11 से पहले के बकाया पर 100 फीसद छूट है। छूट तो मिल नहीं रही है, उल्टा 2010-11 का दोगुना बकाया निकाल दिया गया है।

नए हाउस टैक्स सर्वे की रिपोर्ट साइट पर नहीं मिल रही

नगर निगम ने नए वर्ष 2021-22 की हाउस टैक्स सर्वे की रिपोर्ट साइट पर डालने का दावा तो किया है, लेकिन वहां यह उपलब्ध नहीं है। 5 मार्च 2021 तक नए बिलों पर आपत्ति मांगी गई थी। बताई गई साइट के काम न करने के कारण शहरवासी नए वित्त वर्ष का बिल नहीं देख सके। कब यह साइट खुली और कब बंद हो गई, किसी को पता नहीं चला।

सर्वे कंपनी फीस लेकर जा चुकी है

प्रॉपर्टी टैक्स के लिए निगम ने निजी कंपनी से शहर में सर्वे करवाया था। सर्वे कंपनी ने फीस लेकर जा चुकी है। गलत डाटा यूएलबी की साइट पर डाला गया है। सर्वे रिपोर्ट अधूरी है। कंपनी की लापरवाही का खामियाजा शहरवासी भुगतेंगे।

सीएम से लेकर निकाय मंत्री तक को उपलब्ध कराई गलत सर्वे की रिपोर्ट

युवा जनकल्याण समिति के अध्यक्ष महेश यादव ने बताया कि अगले वर्ष के गलत सर्वे की रिपोर्ट की जानकारी सीएम, निकाय मंत्री, आयुक्त नगर निगम, डीसी को उपलब्ध करवा दी गई है। सर्वे रिपोर्ट दोबारा करवाने व गलत सर्वे करने वाले ठेकेदार का भुगतान रोकने की मांग की जा चुकी है।

काम न होने पर पार्षद पति ने काटा हंगामा

शनिवार को पार्षद पति विजय सहगल ने निगम की प्रॉपर्टी शाखा में हंगामा काटा। काम न होने पर वह निगम कर्मचारी से भिड़ गए। कर्मचारी ने उन्हें काउंटर के बाहर जाने के लिए कहा। इस विजय सहगल ने कर्मचारी को कहा कि तुम्हें शहर में नहीं रहने दूंगा। नगर पालिका कर्मचारी यूनियन ने पार्षद पति के इस व्यवहार पर कड़ी नाराजगी जताई। कुछ देर बाद हंगामे की वीडियो भी वायरल हो गई।

इस पहले पार्षद पवन गोगलिया पर कर्मचारी को थप्पड़ मारने के आरोप लग चुके हैं। कर्मचारी मोनू ने लिखित शिकायत तत्कालीन आयुक्त की दी थी। जिसकी पुलिस जांच कर ही है। यह मामला हाउस की मीटिग में गरमाया था।

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''शहरवासियों ने निगम के धक्के खाकर बिल ठीक करवाए। इसके बावजूद बहुत से लोगों के बिल अभी तक ठीक नहीं हुए हैं। इन परिस्थितियों में भी 20 करोड़ से अधिक प्रापर्टी टैक्स भरा जा चुका है। इसके लिए शहरवासियों का आभार करती हूं। ''

अवनीत कौर, मेयर नगर निगम

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