पराली प्रबंधन के लिए हर गांव में तैनात किए नोडल अधिकारी

जागरण संवाददाता पानीपत धान की कटाई के साथ जिला प्रशासन के सामने पराली प्रबंधन की चुनौती

By JagranEdited By: Publish:Wed, 30 Sep 2020 06:53 AM (IST) Updated:Wed, 30 Sep 2020 06:53 AM (IST)
पराली प्रबंधन के लिए हर गांव में तैनात किए नोडल अधिकारी
पराली प्रबंधन के लिए हर गांव में तैनात किए नोडल अधिकारी

जागरण संवाददाता, पानीपत : धान की कटाई के साथ जिला प्रशासन के सामने पराली प्रबंधन की चुनौती खड़ी हो गई है। पराली प्रबंधन को लेकर हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार को नोटिस जारी कर दिया है। पराली जलाने से रोकने के लिए जिला प्रशासन की ओर से प्रत्येक गांव में नोडल अधिकारी तैनात कर दिए गए हैं। कृषि विभाग के एडीओ, पंचायती विभाग के ग्राम सचिव और रेवेन्यू विभाग के पटवारी को कई-कई गांव की जिम्मेदारी दी गई है। इस बार पराली जलाने पर कार्रवाई की जिम्मेवारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड को सौंपी गई है।

मंडियों में धान की आवक शुरू हो गई है। बीते कुछ वर्षों से धान के सीजन में पराली जलाने से रोकना शासन और प्रशासन के चुनौती बना हुआ है। पराली से होने वाले प्रदूषण का असर हरियाणा समेत दिल्ली और एनसीआर में होता है। बढ़ने वाले प्रदूषण का ठीकरा हरियाणा पर फोड़ा जाता है। इसका मुख्य कारण पराली जलाने से उठने वाला धुआं बताया जाता है। बीते कई वर्षों से सेटेलाइट के माध्यम से पराली जलाने पर नजर रखी जा रही है। इस बार सेटेलाइट के साथ प्रत्येक गांव में नोडल अधिकारी नियुक्त किए गए हैं। डीसी धर्मेंद्र सिंह ने सभी गांवों में ड्यूटी लगाई है। कृषि एवं किसान कल्याण विभाग की ओर से पराली न जलाने और उसके प्रबंधन के लिए गांव-गांव शिविर लगाकर प्रेरित किया गया। सरपंच के माध्यम से मुनादी कराई गई है। उधर, कृषि एवं कल्याण विभाग के एसडीओ सुनील कुमार ने बताया कि बीते वर्ष पराली जलाने पर 11 किसानों पर जुर्माना लगाया गया था।

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