भगोड़ों के पीछे पड़ी हरियाणा समेत छह राज्यों की पुलिस, गिरफ्तारी के लिए एक माह तक चलेगा अभियान

पीओ बेल जंपर्स व पैरोल जंपर्स के खिलाफ हरियाणा पंजाब हिमाचल राजस्थान दिल्ली और चंडीगढ़ एकजुट हो गए हैं। इन राज्यों में अंतरराज्यीय नाके मजबूत होंगे।

By Kamlesh BhattEdited By: Publish:Fri, 20 Mar 2020 07:36 PM (IST) Updated:Fri, 20 Mar 2020 07:36 PM (IST)
भगोड़ों के पीछे पड़ी हरियाणा समेत छह राज्यों की पुलिस, गिरफ्तारी के लिए एक माह तक चलेगा अभियान
भगोड़ों के पीछे पड़ी हरियाणा समेत छह राज्यों की पुलिस, गिरफ्तारी के लिए एक माह तक चलेगा अभियान

जेएनएन, चंडीगढ़। पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट के कड़े रुख के बाद भगोड़ों सहित बेल व पैरोल लेकर आए भागे हुए अपराधियों को पकड़ने के लिए राज्य पुलिस ने कमर कस ली है। राज्य पुलिस ने पिछले दिनों हाई कोर्ट में जानकारी दी थी कि करीब 1200 भगोड़े अकेले हरियाणा के हैं। इन भगोड़ों को पकड़ने के लिए उत्तरी भारत के राज्य राज्यों की पुलिस एक मंच पर आ गई है। अकेले चंडीगढ़ में तीन हजार से ज्यादा भगोड़े हैं।

हरियाणा के पुलिस महानिदेशक मनोज यादव द्वारा शुक्रवार को बुलाई गई संयुक्त बैठक में पंजाब के डीजीपी दिनकर गुप्ता, चंडीगढ़ के पुलिस महानिदेशक संजय बेनीवाल, हरियाणा के डीजीपी क्राइम पीके अग्रवाल, एडीजीपी प्रशासन एंड आइटी एएस चावला, डीआइजी लॉ एंड ऑर्डर राकेश कुमार आर्य शामिल हुए। बैठक में हिमाचल के डीजीपी सीता राम मरड़ी, राजस्थान के एडीजीपी बीएल सोनी और दिल्ली के स्पेशल सीपी प्रवीर रंजन ने भी वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये बैठक में भागीदारी की।

बैठक में हरियाणा के डीजीपी ने इन अपराधियों को पकड़ने के लिए संयुक्त व समन्वित प्रयासों पर बल देते हुए कहा कि इनमें से कई अपराधी गिरफ्तारी से बचने के इरादे से पड़ोसी राज्यों में छिप जाते हैं। बैठक में निर्णय लिया गया कि पीओ, बेल जंपर्स व पैरोल जंपर्स को पकड़ने के लिए उत्तरी राज्यों की पुलिस के बीच बेहतर समन्वय स्थापित करते हुए एक-दूसरे के साथ समयबद्ध तरीके से इनकी जानकारी साझा की जाए।

मनोज यादव ने सुझाव दिया कि ऐसे अपराधियों से संबंधित सूचनाओं को नए पोर्टल बनाकर उन पर डालने की बजाय पुलिस बलों की मौजूदा आइटी प्रणाली से ही जोड़ा जाए। विचार-विमर्श के दौरान, पुलिस अधिकारियों द्वारा उत्तरी राज्यों में एक महीने का विशेष अभियान चलाकर पीओ, बेल जंपर्स व पैरोल जंपर्स पर शिकंजा कसने का भी निर्णय लिया गया। हालांकि, इसकी शुरूआत कोरोनो वायरस के संबंध में सामान्य स्थिति की बहाली के बाद ही की जाएगी।

बैठक में पीओ और बेल जंपर्स की गतिविधियों के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी साझा करते हुए यह निर्णय लिया गया कि अंतरराज्यीय नाकों को मजबूत किया जाएगा। इसके अतिरिक्त संचार और सूचना साझाकरण की प्रणाली में भी सुधार किया जाएगा। इस दौरान पुलिस मुख्यालयों से पीओ और बेल जम्पर्स की उचित निगरानी के लिए अलग से एक विंग स्थापित करने का भी सुझाव दिया गया।

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