पुलिस-प्रशासन में अब सोशल मीडिया का खौफ
जागरण संवाददाता, नारनौल : एससी-एसटी एक्ट में बदलाव के विरोध में दो अप्रैल को भारत बंद के बाद अब पुलि
जागरण संवाददाता, नारनौल : एससी-एसटी एक्ट में बदलाव के विरोध में दो अप्रैल को भारत बंद के बाद अब पुलिस व प्रशासन के सामने नई चुनौती खड़ी हो गई है। यह चुनौती है सोशल मीडिया पर लगातार वायरल हो रहे संदेश हैं। भारत बंद के बाद से ही सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक संदेशों का आदान प्रदान शुरू हो गया है। सोशल मीडिया पर बने समूहों में बंद के दौरान हुई हिंसा को लेकर बहस तक छिड़ रही है। पुलिस व प्रशासन दोनों ही ऐसे संदेशों पर नजर रखे हुए हैं जो समाज में विपरीत माहौल पैदा करने में भूमिका अदा करते हैं।
पुलिस व प्रशासन की ¨चता व चुनौती आगामी 10 दिनों के लिए भी बढ़ गई है। वायरल हो रहे मैसेज में 10 अप्रैल को भारत बंद किए जाने की बात कही जा रही है। हालांकि अभी तक किसी भी दल या संगठन ने बंद का आह्वान नहीं किया है। इसके बावजूद प्रशासन सतर्क है। खुफिया तंत्र द्वारा सोशल मीडिया पर चल रहे इस तरह के संदेशों पर पैनी नजर रखी जा रही है। इसके अलावा 14 अप्रैल को अंबेडकर जयंती पर भी शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस-प्रशासन ने अभी से मुस्तैदी की तैयारी कर ली है। प्रशासन अपने स्तर पर निगरानी बनाए हुए है। वीडियो क्लिप व फुटेज खंगाल रही पुलिस
पुलिस ने भारत बंद के दौरान सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने के मामले में तीन लोगों को नामजद किया जबकि सौ अन्य के खिलाफ मामला दर्ज किया। इस मामले में अभी तक किसी भी आरोपित को गिरफ्तार नहीं किया गया है। पुलिस ने वीडियो व सीसी टीवी फुटेज के जरिए अन्य सौ लोगों को चिह्नित करना शुरू किया है। हालांकि नारनौल में बंद के दौरान किसी तरह की कोई हिंसा या उपद्रव नहीं हुआ था, लेकिन पुलिस में सरकारी पोस्टर फाड़ने, जाम लगने जैसी घटना को लेकर मामला दर्ज किया गया है।