हर बार बदले चेहरे, निर्दलीय भी जीता

इनेलो का गढ़ रहे कलायत हॉटसीट पर इस बार मुकाबला रौचक होने वाला है। कांग्रेस ने इस चुनाव में पूर्व केंद्रीय मंत्री जयप्रकाश को मैदान में उतारा है तो भाजपा ने पूर्व मंत्री नरसिंह ढांडा की पत्नी कमलेश ढांडा को चुनावी दंगल में उतारकर मुकाबला चुनौतीपूर्ण बना दिया है

By JagranEdited By: Publish:Thu, 17 Oct 2019 09:08 AM (IST) Updated:Thu, 17 Oct 2019 09:08 AM (IST)
हर बार बदले चेहरे, निर्दलीय भी जीता
हर बार बदले चेहरे, निर्दलीय भी जीता

जागरण संवाददाता, कैथल :

इनेलो का गढ़ रहे कलायत हॉटसीट पर इस बार मुकाबला रौचक होने वाला है। कांग्रेस ने इस चुनाव में पूर्व केंद्रीय मंत्री जयप्रकाश को मैदान में उतारा है तो भाजपा ने पूर्व मंत्री नरसिंह ढांडा की पत्नी कमलेश ढांडा को चुनावी दंगल में उतारकर मुकाबला चुनौतीपूर्ण बना दिया है। कांग्रेस प्रत्याशी ने 2014 का विधानसभा चुनाव निर्दलीय लड़ते हुए जीता था। कांग्रेस ने पिछले चुनाव में पूर्व मंत्री तेजीमान के बेटे बॉबी मान को टिकट दिया था, लेकिन वे हार गए थे। वहीं भाजपा का प्रत्याशी तीसरे नंबर पर रहा था। भाजपा ने इस बार चेहरा बदलते हुए इस सीट पर पहली बार महिला प्रत्याशी को टिकट दिया है। इस क्षेत्र की खास बात यह भी रही है यहां हर बार राजनीतिक दलों ने चेहरे बदलते चुनावी मैदान में उतारे हैं। अब तक हुए चुनावों में इस सीट पर सबसे ज्यादा इनेलो का कब्जा रहा है। 2005 के विधानसभा चुनाव में यहां से कांग्रेस की टिकट पर चुनाव लड़ी गीता भुक्कल ने जीत दर्ज की थी। अब भाजपा प्रत्याशी कमलेश ढांडा सहित तीन अन्य महिला प्रत्याशी चुनावी मैदान में किस्मत आजमा रही हैं। वर्ष 1977 में जनता पार्टी की टिकट पर चुनाव में विजयी रहे प्रीत सिंह को मंत्रीमंडल में स्थान मिला था, इसके बाद यहां से विधायक बने नेताओं को किसी भी सरकार में मंत्री मंडल में जगह नहीं मिली है, जो इस क्षेत्र के पिछड़ेपन का कारण रहा। बाक्स-

2 लाख से अधिक मतदाता

21 अक्टूबर को होने वाले मतदान में कलायत विधानसभा क्षेत्र से 2 लाख 1 हजार 72 मतदाता अपने मत का प्रयोग करेंगे। इनमें 1 लाख 8 हजार 458 पुरुष तो 92 हजार 611 महिला मतदाता हैं। 198 बूथ मतदान के लिए बनाए गए हैं। 64 के करीब गांव इस हलके में हैं। इस हलके का मतगणना केंद्र आइजी कॉलेज को बनाया गया है। इस बार 15 प्रत्याशी इस सीट पर चुनावी मैदान में है। इस क्षेत्र के मतदाताओं ने एक बार निर्दलीय प्रत्याशी को जिताया है। 2014 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का टिकट न मिलने पर जयप्रकाश ने निर्दलीय चुनाव लड़ते हुए जीत दर्ज की थी। प्रदेश की पुरानी सीटों में क्षेत्र शुमार है। इस सीट से एक बार जीतने वाले विधायक दोबारा जीत को तरसते रहे हैं। अब तक इस सीट पर हुए 12 चुनाव में चार बार इनेलो, तीन बार कांग्रेस ने जीत हासिल की है। भाजपा इस सीट पर आज तक भी कमल नहीं खिला पाई है।

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इस बार लोकसभा चुनाव में भाजपा ने बनाई थी 36 हजार वोटों की बढ़त

लोकसभा चुनाव की बात करें तो इस क्षेत्र में भाजपा ने 36 हजार वोटों की बढ़ती बनाई, इससे पहले यहां भाजपा का प्रत्याशी जीत तो दूर की बात जमानत तक नहीं बचा पाते थे। इस क्षेत्र में जहां भाजपा का ग्राफ बढ़ा वहीं सबसे ज्यादा नुकसान इनेलो का हुआ। लोकसभा चुनाव में इनेलो की टिकट पर चुनाव लड़ रहे पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला के पोते अर्जुन सिंह चौटाला को इस क्षेत्र में मात्र 12 हजार वोट मिली थी। बसपा-लोसपा का प्रत्याशी भी इनेलो से ज्यादा वोट लेने में सफल रहा था। इस बार के विधानसभा चुनाव में भाजपा, कांग्रेस व जजपा प्रत्याशी के बीच मुख्य मुकाबला माना जा रहा है। पाई हलके से 1996, 2000 व कलायत हलके से 2009 में इनेलो की टिकट पर विधायक बने रामपाल माजरा के भाजपा में आने से पार्टी का ग्राफ बढ़ा है।

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ये है कलायत का इतिहास

इतिहासकारों के अनुसार भगवान विष्णु की धरा को कपिलमुनि जी को उनका छठा अवतार माना जाता है। कपिलमुनि ने अपनी माता देवहूति को इसी स्थान सांख्य दर्शन का ज्ञान दिया था। यहां पर जो प्राचीन शिव मंदिर थे, उनमें से एक को आज भी पुरातत्व विभाग ने अधिकृत किया हुआ है। कुरुक्षेत्र की 48 कोष की परिधि में आने वाले इस क्षेत्र की बहुत मान्यता है। यहां के प्राचीन मंदिरों में लगने वाले मेलों में विशेष रूप से लोगों की भीड़ उमड़ती है।

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कब कौन रहा इस क्षेत्र से विधायक

वर्ष नाम पार्टी

1967 माडू राम स्वतंत्र पार्टी

1968 भगतू राम कांग्रेस

1972 भगत राम कांग्रेस

1977 प्रीत सिंह जनता पार्टी

1982 जोगी राम लोकदल

1987 बनारसी दास लोकदल

1991 भरत सिंह समाजवादी जनता पार्टी

1996 रामभज हरियाणा विकास पार्टी

2000 दिनाराम इनेलो

2005 गीता भुक्कल कांग्रेस

2009 रामपाल माजरा इनेलो

2014 जयप्रकाश निर्दलीय

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