..परिवार से दूर कोरोना योद्धा, भावुक हो रहे परिवार

पहली पंक्ति में कोरोना को मात देने के लिए कार्य कर रहे कोरोना योद्धाओं की टीम लंबे समय से अपने परिवार से दूर है। 40 डिग्री के तापमान में ये पीपीई किट डालकर दिन भर फील्ड में काम कर रहे हैं। सप्ताह से दस दिन बाद जब उनका घर जाना भी होता है तो वह मात्र तीन या चार घंटके ही घर में रुक पाते हैं।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 16 May 2020 06:00 AM (IST) Updated:Sat, 16 May 2020 06:11 AM (IST)
..परिवार से दूर कोरोना योद्धा, भावुक हो रहे परिवार
..परिवार से दूर कोरोना योद्धा, भावुक हो रहे परिवार

अमित पोपली, झज्जर : पहली पंक्ति में कोरोना को मात देने के लिए कार्य कर रहे कोरोना योद्धाओं की टीम लंबे समय से अपने परिवार से दूर है। 40 डिग्री के तापमान में ये पीपीई किट डालकर दिन भर फील्ड में काम कर रहे हैं। सप्ताह से दस दिन बाद जब उनका घर जाना भी होता है तो वह मात्र तीन या चार घंटके ही घर में रुक पाते हैं। ऐसी स्थिति में चिकित्सकों के परिवार भी भावुक हो रहे हैं। बेटी ने बनाया चिकित्सक पापा के लिए कॉर्ड, यू आर माई हीरो :

संकट के इस समय में जिस तरह से परिवार इन कोरोना योद्धाओं को ताकत दे रहे हैं, बेशक ही वह बेमिसाल अनुभव है। करीब दस दिन की लगातार ड्यूटी के बाद डा. विकास अपने घर सामान लेने गए तो छोटी बेटी ने एक ग्रीटिग कार्ड भेंट किया। जिसमें अपने पापा को हीरो बताते हुए बेटी ने बताया कि अब टीवी हो या प्रिट मीडिया हर जगह जो भी बताया जा रहा है, उसे देखकर और सुनकर अच्छा लगता है। फोन पर जब दोस्तों से बात होती है तो उनके साथी भी पापा के काम की तारीफ करते हैं। सिविल सर्जन डा. आरएस पूनिया के साथ डा. विकास ने अपना यह अनुभव साझा किया। चिकित्सकों के साथ बन रहे इस भावुक माहौल को समझते हुए सीएमओ पूनिया ने एक विशेष प्रोग्राम बनाया है। वे अब खास तौर पर टीम के लोगों से रोजाना फोन पर बात करते हुए उनका मनोबल बढ़ाते हैं। वहीं, शाम के समय में विश्राम गृह में ठहरे हुए चिकित्सकों से मुलाकात करते हुए हालचाल पूछते हैं। ताकि, जिस माहौल में वह रह रहे हैं, उसे चैक किया जा सके। साथ ही अगर उन्हें किसी तरह की जरूरत हो तो प्राथमिकता के आधार पर पूरा भी करवा रहे हैं। डीआइजी बी. सतीश बालन भी निरंतर कर रहे प्रेरित

जिला के लिए नोडल अधिकारी लगाए गए डीआइजी बी. सतीश बालन भी चिकित्सकों को निरंतर उत्साहवर्धन कर रहे हैं। फील्ड में उनके बीच पहुंचते हुए वह उनका हाल-चाल ले रहे हैं। बालन ने बताया कि चिकित्सकों का मनोबल काफी ऊंचा है। वे आदर्श ढंग से बेहतरीन कार्य कर रहे हैं। उनके बीच पहुंचते हुए यह ध्यान दिया जा रहा है कि उन्हें कोई दिक्कत तो नहीं है। क्योंकि, जिलावासियों को स्वस्थ बनाए रखने के लिए इन सभी का प्राथमिकता के आधार पर ध्यान रखा जाना जरूरी है।

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