अनलॉक का मतलब यह नहीं है कि कोरोना से बचने के नियम भूल जाएं : प्रो. सुनीता

कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कहा कि जहां भी रहें सुरक्षित रहें तथा आसपास के लोगों को भी कोरोना महामारी से बचने के लिए जागरूक करें। उन्होंने कहा कि भौतिकी विषय का विज्ञान में अहम योगदान है। जितने भी वैज्ञानिक व मेडिकल उपकरण जो हमारी शोध प्रयोगशालाओं और अस्पतालों में उपयोग हो रहे हैं उनको बनाने में भौतिकी का बहुत बड़ा योगदान है।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 06 Aug 2020 08:52 AM (IST) Updated:Thu, 06 Aug 2020 08:52 AM (IST)
अनलॉक का मतलब यह नहीं है कि कोरोना से बचने के नियम भूल जाएं : प्रो. सुनीता
अनलॉक का मतलब यह नहीं है कि कोरोना से बचने के नियम भूल जाएं : प्रो. सुनीता

जागरण संवाददाता, हिसार : गुरु जंभेश्वर विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में भौतिकी एसोसिएशन की तरफ से 'रोल ऑफ फिजिक्स इन ग्लोबल रिस्पोंस टू कोविड-19' विषय पर एक दिवसीय वेबिनार का आयोजन किया गया। कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार मुख्यातिथि थे। फिजिक्स विभाग की प्रो. सुनीता श्रीवास्तव मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित रही। विभाग की अध्यक्षा प्रो. सुजाता सांघी ने वेबिनार का संयोजन किया।

कुलपति प्रो. टंकेश्वर कुमार ने कहा कि जहां भी रहें, सुरक्षित रहें तथा आसपास के लोगों को भी कोरोना महामारी से बचने के लिए जागरूक करें। उन्होंने कहा कि भौतिकी विषय का विज्ञान में अहम योगदान है। जितने भी वैज्ञानिक व मेडिकल उपकरण, जो हमारी शोध प्रयोगशालाओं और अस्पतालों में उपयोग हो रहे हैं, उनको बनाने में भौतिकी का बहुत बड़ा योगदान है।

मुख्यवक्ता प्रो. सुनीता श्रीवास्तव ने बताया कि कैसे भौतिकी हमें कोविड-19 से लड़ने के लिए सहायता कर सकती है। उन्होंने वेबिनार के विषय के बारे में प्रतिभागियों को बारीकी से समझाया। साथ ही आगाह किया कि अनलॉक का मतलब यह नहीं है कि कोरोना से बचने के सभी नियम भूल जाएं।

उन्होंने ये सभी बातें भौतिकी के प्रयोग से प्रतिभागियों को समझाई। विभागाध्यक्षा प्रो. सुजाता सांघी ने बताया कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी ही हमें इस महामारी से बचा सकती हैं। वेबिनार में चंडीगढ़, अंबाला, सोनीपत, करनाल, हिसार व अन्य जिलों के लगभग 100 प्रतिभागियों ने भाग लिया। प्रतिभागियों ने इस अवसर पर कोविड-19 में भौतिकी की भूमिका के बारे में पोस्टर प्रस्तुत किए। वेबिनार के आयोजन में भौतिकी ऐसोसिएशन के अध्यक्ष रविन्द्र टंडन व शिक्षक प्रभारी डा. रमेश कुमार की अहम भूमिका रही।

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