शहर में स्ट्रीट लाइटों का ठेका लेने वाली नासिक की कंपनी का टेंडर रद
18 दिन में शहर की स्ट्रीट लाइट मेंटेंन नहीं कर पाई कंपनी अब स्ट्रीट लाइट्स का काम पुरानी कंपनी ही
18 दिन में शहर की स्ट्रीट लाइट मेंटेंन नहीं कर पाई कंपनी
अब स्ट्रीट लाइट्स का काम पुरानी कंपनी ही देखेगी जागरण संवाददाता, हिसार : नगर निगम ने शहर में स्ट्रीट लाइटों के रखरखाव का जिम्मा उठाने वाली नासिक की कंपनी का ठेका रद हो गया है। नगर निगम ने शनिवार को इस कंपनी का टेंडर रद कर दिया। नगर निगम ने स्ट्रीट लाइटों को लेकर नासिक की वर्चेसों इलेक्ट्रॉनिक्स को टेंडर दिया था। कंपनी को एक मई से वर्क ऑर्डर दिया था। कंपनी 18 दिन भी शहर की स्ट्रीट लाइटों का रखरखाव नहीं पाई। इसके कारण आए दिन नगर निगम में लोगों की सैकड़ों शिकायतें आ रहीं थी। इसको देखते हुए नगर निगम ने कंपनी का ठेका रद किया गया है। अब शहर की स्ट्रीट लाइट का काम पुरानी कंपनी ही देखेगी। नासिक की कंपनी को शहर की सभी स्ट्रीट लाइट को एलईडी में भी बदलना था।
नासिक की कंपनी वर्चेसो इलेक्ट्रॉनिक्स को 10 वर्षों के लिए लाइटों की मेंटनेंस व ऑपरेशन का काम दिया गया था। कंपनी को करीब 107 करोड़ नगर निगम की तरफ से अदा किए जाने थे। कंपनी इस पैसे से शहर की करीब 22 हजार 700 स्ट्रीट लाइटें को एलईडी में परिवर्तित करती। इसके साथ ही निगम का बिजली बिल भी इस राशि में एडजेस्ट होना था। कंपनी का ठेका रद करने से एलईडी परिवर्तन का काम भी अटक जाएगा। कंपनी का शुरू से ही हो रहा था विरोध
नासिक की कंपनी का ठेका रद करने को लेकर नगर निगम ने आरडब्ल्यूए व पार्षदों के विरोध का तर्क दिया है। हाउस की बैठक में यह मुद्दा छाया रहा था। शहर में छाए रहने वाले अंधेरे को लेकर कुछ पार्षदों ने आवाज उठाई थी। सेक्टरों में अंधेरे के चलते आरडब्ल्यूए भी विरोध कर रही थी। कंपनी द्वारा जारी किए गए टोल नंबर पर शिकायतों के बावजूद लाइट दुरुस्त नहीं हो रही थी। कंपनी लगा रही पैनल काटने के आरोप
नासिक की कंपनी शहर की स्ट्रीट लाइटस को सुचारु होने को लेकर पैनल व तारों के काटने के आरोप लगा रही है। कंपनी के अधिकारी पवन कुमार का कहना है कि अधिकतर जगह तारों में व पैनल काटे गए थे। जिसके चलते बिजली की सप्लाई सुचारु नहीं हो पा रही थी। इसके बारे में वे निगम प्रशासन को भी अवगत करवा चुके थे। वर्जन
स्ट्रीट लाइटों को लेकर कई समस्याएं सामने आ रही थी। नासिक की कंपनी का ठेका रद करने के आदेश आए हैं। पुरानी एजेंसी ही अब काम देखेगी।
रामदीया शर्मा, जेई, इलेक्ट्रिक ¨वग, नगर निगम